कोरोना से जीतकर दूसरों के लिये प्रेरणा बनी उषा निगम

Shivani Rathore
Published on:

भोपाल : मन में दृढ़ इच्छा शक्ति हो, तो किसी भी लड़ाई से जंग जीती जा सकती है। इस पर खरी उतरी हैं उज्जैन निवासी 62 वर्षीय उषा निगम। जिला सहकारी बैंक से सेवा निवृत्त उषा निगम को समय पर उचित उपचार मिलने और दृढ़ इच्छा शक्ति से कोरोना से मुक्ति मिली। कोरोना से जीतकर दूसरों के लिये उषा निगम एक प्रेरणा भी बनी हैं। लंग्स इंफेक्शन के पूर्व उन्होंने खाँसी, बुखार होने से अस्पताल में कोविड टेस्ट कराया था। उनकी रिपोर्ट पॉजीटिव आने के बाद उन्हें माधव नगर अस्पताल उज्जैन में भर्ती कराया गया। उपचार के दौरान सिटी स्केन करवाने पर लंग्स में 95 प्रतिशत इंफेक्शन बताया गया। हालात बिगड़ने पर माधव नगर अस्पताल में आईसीयू में भर्ती कर सतत उपचार जारी रखा।

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने भी उषा निगम के हौंसले को सलाम करते हुए ट्वीट किया। उन्होंने कहा कि उषा निगम ने 80 दिन में ऑक्सीजन सपोर्ट और दो महीने अस्पताल में रहकर कोरोना से जंग जीत ली। इस नये जीवन के लिये उन्हें शुभकामनाएँ। उषा जी की जीत दूसरों के लिये प्रेरणा बनेगी।

उषा निगम ने हौसला नहीं हारा और कोरोना को हराने के लिये अस्पताल में सतत उपचार कराती रही। स्वास्थ्य में सुधार न होने पर माधव नगर अस्पताल से इन्दौर के अरबिंदो अस्पताल में भर्ती कराया गया। पुनः नये सिरे से जाँच और उपचार कराने पर लगभग आठ दिन में ही लंग्स इंफेक्शन ठीक होने लगा। चिकित्सकीय निगरानी और अपने हौसले को बुलन्द रखते हुए उषा निगम धीरे-धीरे स्वस्थ होने लगी और कोरोना को मात देकर सकुशल घर लौटी।

चिलचिलाती गर्मी और लू के थपेड़ों के बीच दायित्व निभाते कोरोना वारियर्स
‘मैं कोरोना वॉलेंटियर’ योजना से जुड़े समाज-सेवी स्थानीय प्रशासन के साथ मिल कर कोरोना संक्रमण को रोकने में महती भूमिका निभा रहे हैं। अलीराजपुर जिले में चिलचिलाती धूप और लू के थपेड़ों के बीच कोरोना वारियर्स विभिन्न चैक पोस्टों पर तैनात होकर आने-जाने वालों को कोरोना संक्रमण से बचने का संदेश दे रहे हैं। चैक पोस्ट पर थर्मल स्क्रीनिंग, स्वास्थ्य संबंधी जानकारी दी जाकर राहगीरों की ट्रेवल हिस्ट्री भी ली जा रही हैं। चैक पोस्ट पर बिना मास्क वालों पर चालानी कार्यवाही भी की जा रही है।

कोरोना पर विजय पाकर घर पहुँचे अभिनव द्विवेदी
कोरोना की रिपोर्ट पॉजिटिव आने पर लोग बिलकुल न घबरायें। धीरज बनाये रखें। मनोबल बनाये रखने से कोरोना पर विजय पाना मुश्किल नहीं है। यह कहना है नरसिंहपुर जिले के श्री अभिनव द्विवेदी का।वे कोरोना पॉजिटिव हो गये थे और अब पूरी तरह स्वस्थ होकर घर पहुँच चुके हैं।

अभिनव द्विवेदी कहते हैं कि मुझे जब यह महसूस हुआ कि मेरी तबियत खराब है तो मैंने बगैर देर किये डॉक्टर को दिखाया। डॉक्टर की सलाह पर मेरा कोविड-19 का टेस्ट किया गया। रिपोर्ट पॉजिटिव आने पर मुझे पीजी कॉलेज नरसिंहपुर में बनाये गये कोविड केयर सेंटर में भर्ती किया गया। वहाँ के डॉक्टरों और प्रशासनिक अमले ने मेरा मनोबल बढ़ाया। मुझे समय पर दवाइयाँ दी गईं। समय पर चाय, नाश्ता व भोजन दिया गया। डॉक्टर और स्टाफ बहुत मददगार रहे। उन्हीं के कारण आज मैं पूरी तरह स्वस्थ होकर खुशी- खुशी अपने घर जा रहा हूँ।

देवतुल्य चिकित्सा स्टॉफ ने पल-पल रखा ध्यान
उज्जैन के चरक हॉस्पिटल से कोरोना को मात देकर घर लौटे सहायक शिक्षक श्री मदनलाल पांचाल ने वीडियो जारी कर चिकित्सक और चिकित्सा स्टाफ की सराहना की है। उन्होंने वीडियो संदेश में कहा कि चिकित्सक और स्टॉफ ने उनका पल-पल ध्यान रखा। ये लोग देव तुल्य हैं। श्री पांचाल 10 दिन पूर्व चरक हॉस्पिटल के वार्ड नंबर 508 में भर्ती होकर कोरोना का उपचार ले रहे थे। उन्हें चिकित्सकीय सलाह पर 2 रेमडेसिविर इंजेक्शन भी लगाए गए। उनका कहना है कि अस्पताल में वो हर तरह की सुविधा है जो निजी अस्पताल में होती है। समय पर बहुत अच्छा भोजन दिया गया। साफ-सफाई की व्यवस्था भी अच्छी है। उन्होंने जिला प्रशासन, चिकित्सकों एवं प्रदेश सरकार को धन्यवाद देते हुए कहा है कि निश्चित रूप से सरकार इस संकट काल में हर आदमी का ख्याल कर रही है। श्री पांचाल प्राथमिक विद्यालय सिंहदेवला में सहायक शिक्षक हैं।