MP News : मध्य प्रदेश के खंडवा जिले में ताप्ती नदी पर बनने वाला महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश का संयुक्त मेगा रिचार्ज प्रोजेक्ट शुरू होने से पहले ही विवादों का सामना कर रहा है। इस प्रोजेक्ट की कुल लागत 19,000 करोड़ रुपये आंकी गई है, और इसका उद्देश्य दोनों राज्यों में जल संसाधनों का पुनर्चक्रण करना है। हालांकि, इस योजना के आसपास के आदिवासी समुदायों ने इसका विरोध शुरू कर दिया है।
आदिवासी समुदाय के मुताबिक, इस प्रोजेक्ट के कारण मध्य प्रदेश के 73 गांवों के डूबने का खतरा है। इन गांवों में लगभग 9 लाख एकड़ भूमि प्रभावित होगी, और प्रोजेक्ट के कारण जंगल भी काटे जाएंगे। इसके साथ ही, आदिवासियों को अपनी ज़मीन छोड़कर पलायन करना पड़ेगा। इस विरोध के चलते, आदिवासी समुदाय ने खंडवा और बैतूल जिले में बड़े पैमाने पर प्रदर्शन किए हैं। अब महाराष्ट्र के अमरावती में भी इस मुद्दे को लेकर प्रदर्शन की योजना बनाई जा रही है।

प्रोजेक्ट के पक्ष में जल संसाधन विभाग का तर्क
हालांकि, जल संसाधन विभाग के अधिकारी बाबूलाल मंडलोई का कहना है कि यह सिर्फ एक आशंका है। उन्होंने बताया कि अभी तक डिटेल्ड प्रोजेक्ट रिपोर्ट (DPR) तैयार नहीं हुई है। मंडलोई के अनुसार, इस प्रोजेक्ट के तहत गुनीघाट में ताप्ती नदी पर एक कंक्रीट की सॉलिड वॉल बनाई जाएगी, जिससे कोई भी गांव प्रभावित नहीं होगा। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि इस प्रोजेक्ट में पुनर्वास की कोई आवश्यकता नहीं होगी, और इसे दोनों राज्यों का संयुक्त उपक्रम माना जा रहा है।
मूल योजना में किया गया बदलाव
इस परियोजना की मूल योजना में जलाशय बनाने का प्रावधान था, जिसके माध्यम से दोनों राज्यों के गांवों में सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध कराया जाना था। लेकिन योजना में बदलाव किया गया है। अब गुनीघाट में ताप्ती नदी पर कंक्रीट की सॉलिड वॉल बनाई जाएगी, जिसकी जल भराव क्षमता 8 मिलियन क्यूबिक मीटर होगी। इससे पानी केवल नदी क्षेत्र में ही रहेगा, और किसी भी गांव को सीधे तौर पर प्रभावित नहीं किया जाएगा।
क्या हैं इस प्रोजेक्ट का उद्देश्य
इस प्रोजेक्ट का मुख्य उद्देश्य बारिश के पानी को बैराज में जमा करना है, जिससे दोनों राज्यों के क्षेत्रों में सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध हो सके। इस योजना के तहत, नहरों का निर्माण भी किया जाएगा, ताकि महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश में जल संसाधनों का पुनर्चक्रण हो सके और दोनों क्षेत्रों को जल की आपूर्ति सुनिश्चित की जा सके।