शुक्रवार को मंदसौर, रतलाम और नीमच जिले में सीजन की पहली मावठे की बारिश हुई, जिसने ठंड बढ़ा दी और लोगों को ठिठुरने पर मजबूर कर दिया। कृषि उपज मंडी में अपनी फसल लेकर आए किसानों को भी इस बारिश के कारण काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ा। तेज बारिश अचानक शुरू हुई, जिससे किसानों की उपज पानी में बह गई और वे अपनी फसल को समेटते नजर आए। जिले के कुछ हिस्सों में ओले गिरने की भी सूचना मिली है।
पिछले तीन दिनों से मंदसौर, नीमच और रतलाम में मौसम में बदलाव देखा जा रहा है। आसमान में बादल घेर चुके हैं, वहीं दोपहर तक धुंध भी छाई रहती है। मौसम के इस बदले हुए मिजाज को देखते हुए मौसम वैज्ञानिकों ने इस क्षेत्र में मावठे की बारिश और ओलावृष्टि की चेतावनी जारी की थी।
मंदसौर में अचानक तेज हवाओं के साथ मावठे की बारिश
शुक्रवार दोपहर को मंदसौर शहर और जिले में अचानक तेज हवाओं के साथ बूंदाबांदी शुरू हुई। लोग कुछ समझ पाते, उससे पहले ही मूसलधार बारिश शुरू हो गई। बारिश इतनी तेज थी कि सड़कों पर पानी बहने लगा। मावठे की बारिश के अचानक शुरू होने से मंदसौर कृषि उपज मंडी में उपज लेकर आए किसानों को परेशानियों का सामना करना पड़ा। मंडी में किसान अपनी लहसुन और अन्य फसलें नीलामी के लिए खुले में रखे हुए थे, तभी तेज बारिश ने उनकी उपज को पानी में बहा दिया। किसानों को अपनी उपज समेटते हुए भीगते हुए देखा गया। बारिश में अपनी फसल को बहते और भीगते देख किसानों के चेहरे पर चिंता की लकीरें साफ दिखाई दे रही थीं।
मंदसौर में करीब 20 मिनट तक मावठे की बारिश हुई। इसके अलावा जिले के मल्हारगढ़, पीपलियामंडी, सीतामऊ, शामगढ़, गरोठ और अन्य इलाकों में भी बारिश होने की सूचना मिली है। गरोठ क्षेत्र में बारिश के साथ चने के आकार के ओले भी गिरे। अफीम के किसानों ने मावठे की बारिश को लेकर खुशी जताई, उनका कहना है कि मावठे की पहली बारिश अफीम समेत अन्य फसलों के लिए अमृत के समान है, खासकर उन फसलों के लिए जिन पर फल नहीं आए थे।