Indore News: कोरोना होने के बाद आंखों को सबसे ज्यादा खतरा, अब तक सामने आ चुके 300 पार केस

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By Mohit DevkarPublished On: May 8, 2021

दूसरी लहर में कोरोना पॉजिटिव होने के बाद आंखों पर एक नया खतरा आ गया है। म्यूक्रोमायसिस बीमारी ने मरीजों की रोशनी भी छीन ली। इस समय शहर के अस्पतालों में कई मरीज आंखों का इलाज करा रहे हैं। कोरोना से ठीक होकर जब मरीज घर जाता है, तो कुछ दिन बाद आंखों में धुंधलापन शुरू हो जाता है। कुछ ही घंटों में आंखों पर सूजन आती है और आंख की रोशनी जाने का खतरा बन जाता है। यह फंगस इंफेक्शन है, इलाज हो सकता है। नाक के जरिये होने वाली इस बीमारी का असर दिमाग तक जा रहा है। इस दौरान मरीजों की मौत भी हो रही है।


बांबे हास्पिटल के न्यूरोलॉजिस्ट डॉ. अतुल तापडिय़ा का कहना है कि ये बीमारी घातक है। मरीज के दिमाग तक उसका असर होने के कारण ब्रेन डेथ भी हो रही है। यदि तत्काल बीमारी का पता चल जाता है, तो इलाज हो सकता है। डॉ. इसका पता करने में लगे हैं कि ऐसा क्यों हो रहा है। लगभग तीस इंजेक्शन मरीज को लगाना होते हैं, तब कहीं जाकर इलाज हो पाता है। शुगर मरीज के लिए ये बीमारी घातक है। तत्काल एमआरआई भी करा लेना चाहिए। बांबे अस्पताल में इस समय लगभग प”ाीस मरीज अपना इलाज करा रहे हैं। शहर के तमाम अस्पतालों में इस तरह के मरीज सामने आ रहे हैं।