शनि और गुरु के एक ही राशि में आने से इन जातकों की चमक जाएगी किस्मत, होगा बड़ा लाभ

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जैसा कि आप सभी जानते हैं कि ज्योतिष के अनुसार हमारे भाग्य के अनुसार ग्रह में परिवर्तन होता रहता है। हमारे ग्रह की वजह से हमारे राशियां प्रभावित होती है क्योंकि जब भी ग्रह और नक्षत्र चेंज होते हैं तो उनका सीधा असर हमारी राशि पर पड़ता है। गृह को शांत करने के लिए हम कई तरह के उपाय करते हैं। यदि हम किसी ज्योतिषशास्त्र की गणना को माने तो उनके द्वारा बताई गई विधि सटीक बैठती हैं।

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वहीं इस समय शनि मकर राशि में विराजमान हैं। देवगुरु बृहस्पति भी 14 सितंबर को मकर राशि में प्रवेश कर जाएंगे। देवगुरु बृहस्पति इस राशि में 21 नवंबर तक विराजमान रहेंगे। देवगुरु बृहस्पति और शनि के एक ही राशि में आने से शुभ योग बन रहा है। इस शुभ योग के निर्माण से कुछ राशियों को फायदा होने जा रहा है। इन राशियों पर कुछ समय तक मां लक्ष्मी की विशेष कृपा रहेगी।

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मीन राशि:
गुरु और शनि के एक ही राशि में आने से मीन राशि वालों को फायदा होगा। मां लक्ष्मी की विशेष कृपा रहेगी। लेन- देन के लिए समय शुभ है। कार्यक्षेत्र में सफलता प्राप्त करेंगे। परिवार के सदस्यों का सहयोग प्राप्त करेंगे। वैवाहिक जीवन सुखमय रहेगा।

कर्क राशि:
कर्क राशि के जातकों के लिए गुर और शनि का एक ही राशि में आना शुभ रहने वाला है। दांपत्य जीवन सुखमय रहेगा। मां लक्ष्मी की कृपा से धन- लाभ होगा। कार्यक्षेत्र में खूब मान- सम्मान मिलेगा। पद- प्रतिष्ठा में वृद्दि होगी और नौकरी और व्यापार में लाभ के योग बन रहे हैं। कार्यक्षेत्र में आपके द्वारा किए गए कार्यों की सराहना की जाएगी।

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वृष राशि:
वृष राशि के जातकों के लिए गुरु और शनि का एक ही राशि में आना किसी वरदान से कम नहीं कहा जा सकता है। धन- लाभ होगा और मां लक्ष्मी की विशेष कृपा रहेगी। नौकरी और व्यापार के लिए समय शुभ है। निवेश करने से लाभ होगा। कार्यों में सफलता मिलेगी।

मेष राशि:
मेष राशि के लिए गुरु और शनि का ही राशि में आना शुभ कहा जा सकता है। मां लक्ष्मी की कृपा से आर्थिक पक्ष मजबूत होगा। नौकरी और व्यापार में तरक्की करेंगे। स्वास्थ्य बेहतर रहेगा और मान- सम्मान और पद- प्रतिष्ठा में वृद्दि होगी। कार्यों में सफलता प्राप्त करेंगे। आपके द्वारा किए गए कार्यों की सराहना होगी।