कांग्रेस पार्टी इन दिनों देश भर में ‘भारत जोड़ो यात्रा’ के माध्यम से अपनी खोई पहचान और विश्वास को दोबारा पाने की कोशिश कर रही है. तो वही दूसरी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी 7 सितंबर से यात्रा की शुरुआत कर चुके हैं. यह महायात्रा 150 दिन तक चलने वाली है, इस यात्रा के 7वें दिन राहुल गांधी ने दक्षिण भारतीय राज्य केरल में पदयात्रा की.
कन्याकुमारी से जम्मू-कश्मीर तक की यात्रा करके कांग्रेस देश के संतों की ही तरह प्रेम, भाईचारे, अहिंसा का संदेश दे रही है. वहीं दूसरी और राहुल गांधी ने भारतीय जनता पार्टी पर निशाना साधते हुए कहा कि हिंदू धर्म में पहला शब्द ‘ओम शांति’, लेकिन देश में भगवा पार्टी दे में अशांति फ़ैलाने का काम कर रही है.
वयनाड संसद राहुल गांधी बोले कि सभी धर्मों का सार शांति, सद्भाव और करुणा है. सभी धर्म हमें एक-दूसरे का सम्मान करना सिखाते हैं. सभी भारतीयों को उनके अलग-अलग धर्म, समुदाय, भाषा आदि के बावजूद एकजुट करना इस यात्रा की भावना है.
आपको बता दें तमिलनाडु के बाद भारत जोड़ो यात्रा इस समय केरल में है। मंगलवार शाम को यहा कल्लम्बलम में भारी भीड़ को संबोधित करते हुए गांधी ने कहा कि हिंदू धर्म में पहली बात जो सिखाई जाती है वह है ‘ओम शांति’. तो कृपया मुझे समझाएं कि कैसे एक पार्टी जो खुद को हिंदुओं का प्रतिनिधि कहती है, पूरे देश में अशांति पैदा कर रही है? वे जहां भी जा रहे हैं सद्भाव को नष्ट कर रहे हैं, वे लोगों पर हमला कर रहे हैं, वे लोगों को बांट रहे हैं, उन्हें अपशब्द कह रहे हैं.
भारत जोड़ो यात्रा के माध्यम से क्या संदेश देना चाहती कांग्रेस
पंकज श्रीवास्तव कहते हैं, कन्याकुमारी से जम्मू-कश्मीर तक की यात्रा करके कांग्रेस देश के संतों की ही तरह प्रेम, भाईचारे, अहिंसा का संदेश में फैला रही है. इसी तरह की यात्रा पर राहुल गांधी और भारतयात्री चल रहे हैं. जिस यात्रा पर राहुल गांधी निकले हैं उसे तय करने में पूरे 150 दिन यानी पांच महीने का समय लग रहा है. इस तरह से दाएं-बाएं मुड़ने में यात्रा को सालों लग जाएंगे.
श्रीवास्तव ने कहा कि यात्रा का मकसद कोई राजनीतिक या तत्काल राजनीति फायदा उठाने का नहीं है. साथ ही यात्रा के जरिए देश के लोगों से जुड़ना, उन्हें बताना है कि प्रेम, करूणा, अहिंसा इस देश के मुल्य हैं और आज जो नफरत देश में फैलाई जा रही है वो भारत के विचार के लिए खतरनाक है.