उज्जैन: कलेक्टर आशीष सिंह ने जिले के सभी राजस्व अधिकारियों को निर्देशित किया है कि 4 नवम्बर से जिले में बटांकन का अभियान चलायें। आगामी डेढ़ माह में प्रत्येक पटवारी हलके में 100 बटांकन के प्रकरणों निराकरण करें। कलेक्टर ने कहा है कि उनके ग्रामीण क्षेत्र के दौरे के दौरान बंटवारे एवं नामांतरण की शिकायतें नहीं मिलना चाहिये। कलेक्टर ने आज जिले के राजस्व अधिकारियों की बैठक ली एवं निम्नानुसार निर्देश जारी किये :-
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राजस्व अधिकारी अपने मूल काम पर अधिक ध्यान दें। बंटवारा, नामांतरण, सीमांकन, खसरा खतौनी की नकल आदि के लिये किसी भी किसान को परेशानी नहीं आना चाहिये न ही प्रकरण लम्बित होना चाहिये। सामलाती खातों का चिन्हांकन कर खातेदारों को समझाईश दी जाये कि वे अपना बटांकन करवा लें। बटांकन करने के क्या फायदे हैं, इसकी भी उन्हें जानकारी दी जाये।
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कलेक्टर ने सभी तहसीलदारों एवं अनुविभागीय अधिकारियों को निर्देशित किया है कि वे राजस्व प्रकरणों को आरसीएमएस साफ्टवेयर में दर्ज करते हुए समय-सीमा में उनका निराकरण करें। उन्होंने कहा कि राजस्व न्यायालय में चल रहे प्रकरण में लम्बी-लम्बी तारीखें नहीं दी जाये और अनेक लोगों की गवाही के लिये प्रकरण लम्बित न रखा जाये। कलेक्टर ने घट्टिया, झारड़ा, नागदा के तहसीलदारों द्वारा 80 प्रतिशत से अधिक प्रकरणों का एक माह में निराकरण करने पर संतोष व्यक्त किया एवं बाकी अधिकारियों को भी इसी तरह कार्य करने के लिये कहा है।
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कलेक्टर ने कहा है कि राजस्व अधिकारियों के रूप में अधिकारियों की प्राथमिकता शासकीय जमीन का प्रबंधन करना है। उन्हें हमेशा शासकीय पक्ष के साथ विचार कर यह सुनिश्चित करना है कि शासकीय जमीनों पर अतिक्रमण होने से रोका जाये। कलेक्टर ने उज्जैन नगर निगम क्षेत्र एवं नागदा नगर पालिका में बीपीएल सूची का सत्यापन करने के लिये अभियान चलाने के निर्देश दिये हैं। उज्जैन नगरीय क्षेत्र में यह अभियान 4 नवम्बर से प्रारम्भ हो जायेगा। कलेक्टर ने कहा है कि सत्यापन के दौरान अपात्र लोगों के पंचनामे बनाकर उनके नाम सूचीबद्ध किये जायें। बैठक में अपर कलेक्टर अवि प्रसाद, एडीएम नरेन्द्र सूर्यवंशी, अपर कलेक्टर जितेन्द्रसिंह चौहान एवं जिले के सभी एसडीएम मौजूद थे।