इंदौर : मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि राजस्व महा अभियान प्रथम चरण (जनवरी- मार्च 2024) की सफलता को देखते हुए राज्य शासन द्वारा राजस्व प्रकरणों के त्वरित निराकरण और राजस्व अभिलेख त्रुटियों को ठीक करने के लिए राजस्व महाअभियान-2, 18 जुलाई से 31 अगस्त तक चलेगा। अभियान के दौरान सभी संभाग आयुक्त और कलेक्टर अपने क्षेत्रों का निरंतर निरीक्षण करेंगे। उत्कृष्ट कार्य करने वाले राजस्व अधिकारियों को पुरस्कृत भी किया जाएगा। अभियान का उद्देश्य राजस्व न्यायालय में समय सीमा पर लंबित प्रकरणों का निराकरण, नए राजस्व प्रकरणों को आरसीएमएस पर दर्ज कराना, नक्शे पर तरमीम, पीएम किसान योजना सभी पात्र किसानों को लाभ देना, समग्र का आधार ई-केवाईसी और खसरे की समग्र/ आधार से लिंकिंग एवं फार्मर रजिस्ट्री का क्रियान्वन है। डिजिटल क्रॉप सर्वेक्षण एक अगस्त से 15 सितम्बर तक होगा।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने मुख्यमंत्री निवास स्थित समत्व भवन में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कर राजस्व महाअभियान के संचालन संबंधित जानकारी ली। बैठक में राजस्व मंत्री करण सिंह वर्मा, मुख्य सचिव वीरा राणा, अपर मुख्य सचिव मुख्यमंत्री कार्यालय डॉ. राजेश राजौरा, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री कार्यालय संजय कुमार शुक्ला सहित वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। सभी संभागायुक्त एवं जिला कलेक्टर्स बैठक में वर्चुअली शामिल हुए। इंदौर से संभागायुक्त दीपक सिंह, कलेक्टर आशीष सिंह सहित अन्य राजस्व अधिकारी शामिल हुये। पटवारी ई-डायरी बनायें मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि पटवारी डायरी डिजिटल की जाए। मेन्युअल डायरी प्रथा समाप्त की जाए। पीएम किसान सम्मान निधि का लाभ के लंबित प्रकरणों में ई-केवाईसी करें। अच्छा वातावरण निर्मित करें। गौ-शालाओं की क्षमता अनुसार गौ-वंश रखें, वे सड़कों पर न दिखें। राज्य सरकार द्वारा गौ-शालाओं को दिया जाने वाले अनुदान को दोगुना कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि अवैध रेत उत्खनन पर कार्यवाही हो।
पटवारी रहें मुख्यालय पर
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि पटवारी मुख्यालय पर रहें, दक्षता के साथ कलेक्टर कार्यवाही करें। अभियान की हर दिन समीक्षा की जाए, साफ-सुथरा कार्य हो, अच्छा कार्य करने वालों को पुरस्कृत किया जाएगा। गलती होने पर माफ नहीं किया जाएगा। कमिश्नर अपना 45 दिन का दौरा कार्यक्रम बनाएं, इसमें किसी प्रकार की लापरवाही बर्दाशत नहीं की जाएगी। अभियान में नक्शा दुरुस्तीकरण का कार्य अच्छा हो। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने प्रमुख सचिव को लगातार मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए। स्वामित्व योजना का लाभ दिए जाना सुनिश्चित किया जाए, परंतु इस बात का ध्यान रखा जाए कि इसका दुरुपयोग न हो। नदियों में रेत का अवैध उत्खनन सख्ती से रोका जाए। बरसात के मौसम में होने वाली बीमारियों की रोकथाम एवं उपचार का पूरा प्रबंधन किया जाए।
प्रदेश में 15 जनवरी से 31 मार्च तक चलाए गए राजस्व महाअभियान-01 में 30 लाख से अधिक प्रकरणों का निराकरण किया गया। इस महाअभियान में सभी जिलों में अच्छा काम हुआ। महाअभियान में राजस्व प्रकरणों के निराकरण प्रतिशत के हिसाब से पांढुर्ना प्रथम, बुरहानपुर, द्वितीय, खण्डवा तृतीय स्थान पर है जबकि हरदा दसवें स्थान पर रहा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि भोपाल, सिंगरौली, मुरैना, उमरिया द्वितीय चरण में अच्छा कार्य करें, कोई शिकायत नहीं आए। विवादित प्रकरणों पर ठोस कार्यवाही की जाए। समग्र का आधार से सत्यापन करना जरूरी है।
राजस्व महाअभियान-01 की उपब्धियां
राजस्व महाअभियान-01 के दौरान प्रदेश में नामांतरण मद में कुल 3 लाख 23 हजार 016 प्रकरणों का निराकरण, बंटवारा 40 हजार 414 प्ररकण का निपटारा, सीमांकन मद 43 हजार 189 प्रकरणों का निपटारा, अभिलेख दुरुस्ती मद 27 हजार 373 प्रकारणों का निपटारा, नकशा तरमीम मद में 26 लाख 14 हजार 263 प्रकरणों सहित कुल 30 लाख 48 हजार 255 प्रकरणों का निपटारा किया गया है। जिलेवार स्थिति इस तरह है:- पांढुर्णा कुल लंबित 268545 प्रकरणों में से 1लाख 13 हजार 396 निराकृत हुए, बुरहानपुर में 2 लाख 55 हजार 487 लंबित प्रकरण 9 हजार 93 निराकृत, खण्डवा 5 लाख 30 हजार 42 लंबित, निराकृत एक लाख 68 हजार 549 हुए, झाबुआ 4 लाख 48 हजार 985 लंबित एक लाख 46 हजार 405 निराकृत, विदिशा 9 लाख एक हजार 928 लंबित 2 लाख 49 हजार 194 निराकृत, सीहोर 10 लाख 61 हजार 473 लंबित 3 लाख दस हजार 651 निराकृत, रायसेन 8 लाख 7 हजार 423 निराकृत, निवाड़ी 3 लाख 51 हजार, लंबित 77 हजार 806 निराकृत, शिवपुरी 14 लाख 38 हजार 239 लंबित 3 लाख 26 हजार 957 निराकृत, हरदा 4 लाख 9 हजार 446 प्रकरण लंबित 81 हजार 327 निराकृत प्रकरण शामिल हैं।