Hindenburg Research Shutting Down : अमेरिकी रिसर्च फर्म हिंडनबर्ग ने अपने कामकाज को समाप्त करने का बड़ा फैसला लिया है। हिंडनबर्ग वही कंपनी है जिसने 2023 में भारतीय अरबपति गौतम अडानी की कंपनियों के खिलाफ एक नेगेटिव रिपोर्ट जारी की थी, जिसके बाद अडानी ग्रुप की कंपनियों को शेयर बाजार मेंBभारी नुकसान झेलना पड़ा था। हालांकि, अडानी ग्रुप ने हमेशा हिंडनबर्ग के आरोपों को खारिज किया है। अब हिंडनबर्ग के संस्थापक नैट एंडरसन ने फर्म को बंद करने के निर्णय के बारे में विस्तार से बताया है।
हिंडनबर्ग के बंद होने का कारण
हिंडनबर्ग के संस्थापक एंडरसन ने अपने निजी नोट में फर्म को बंद करने का कारण स्पष्ट किया। उन्होंने कहा कि फर्म ने अपने लक्ष्यों को पूरा कर लिया है। इसके अलावा, फर्म के बंद होने की योजना पहले से ही चल रही थी, जिसमें एक पोंजी स्कीम की जांच पूरी करना भी शामिल था।
एंडरसन ने हिंडनबर्ग की शुरुआत के समय का जिक्र करते हुए बताया कि फर्म के पास न तो पर्याप्त संसाधन थे और न ही पैसे। इसके बावजूद, हिंडनबर्ग ने मुश्किलों का सामना किया और सफलता प्राप्त की। उन्होंने बताया कि शुरूआत में फर्म पर तीन मुकदमे दर्ज हुए थे, जिनके कारण उनके पास जो भी पैसे थे, वह सब समाप्त हो गए थे। इस कठिन दौर में लॉयर ब्रायन वुड ने उन्हें काफी मदद की।
अब क्या करेंगे हिंडनबर्ग के सदस्य?
हिंडनबर्ग के बंद होने के बाद अब सवाल उठता है कि उसकी टीम के सदस्य क्या करेंगे। खबरों के अनुसार, हिंडनबर्ग की 11 सदस्यीय टीम अब अपनी नई फाइनेंशियल रिसर्च फर्म खोलने पर विचार कर रही है। एंडरसन ने अपने समापन भाषण में अपने परिवार, दोस्तों और पाठकों को उनके अटूट समर्थन के लिए धन्यवाद दिया।