आप सोच रहे होंगे कि कोई कैसे हर दिन प्रसन्न रह सकता है ?
सच मानिए मैं प्रतिदिन प्रसन्न रहता हूं, और मेरी इस प्रसन्नता के पीछे एक बहुत आकर्षक कारक है।
हम मानते हैं कि हम उस परमपिता की संतान हैं और जन्म और मृत्यु उस कृपालु ईश्वर के ही हाथों में है, जन्म से लेकर मृत्यु तक हम ईश्वर की कृपा के भागीदार बनने लिए नाना प्रकार के जतन करते रहते हैं।
हम सब मानव यह भलीभांति समझते हैं कि जब तक परमात्मा की कृपा है तब तक ही हम जीवित हैं, उनकी कृपा हटते ही इस धरती पर हमारा समय समाप्त हो जाता है, अत: परमात्मा की कृपा का भागीदार बनने से बेहतर और क्या हम चाहेंगे प्रसन्न रहने के लिए ?
मैं प्रतिदिन परमपिता की असीमित कृपा प्राप्त करता हूँ, जी हां प्रतिदिन मुझे ईश्वर का आशीर्वाद प्राप्त होता है और यह पुरस्कार मुझे उत्साह और प्रसन्नता से भर देता है। मेरे पास रोजाना खुश रहने के लिए एक अद्भुत वजह होती है यह साधारण सा राज मैं आप सभी को बताना चाहता हूँ ।
प्रत्येक रात सोने से पहले मैं प्रार्थना करता हूँ कि हे प्रभु आपकी कृपा से मैंने आज का दिन व्यतीत किया और इसके लिये मैं आपका आभार व्यक्त करता हूँ और अपने आपको आपकी शरण में छोड़ता हूँ, यह कह कर मैं निद्रा के हवाले हो जाता हूँ और अगली सुबह जागने पर जब मैं अपने आप को जीवित पाता हूँ, साँसों को चलते हुए पाता हूँ, अपने अंगों को पिछली रात की तरह ही सक्रिय पाता हूँ… तो मैं बहुत खुश हो जाता हूँ और मन ही मन कहता हूँ, “धन्यवाद भगवानजी”, आज फिर आपने अपनी असीम कृपा मुझ अकिंचन पर बरसाई है, मुझे और एक दिन का जीवनदान दिया है ।
स्वयम को जीवीत पाकर मैं प्रसन्नता से भर उठता हूँ और साथ ही साथ मेरे मन में यह विश्वास भी जागता है कि जब भगवान् मुझ पर प्रसन्न रहकर अपनी कृपा बरसा रहे हैं, मुझे जीवन जीने का मौका दे रहे है, उनकी असीम अनुकम्पा आज भी मुझ पर है, तो मैं भी परमपिता की एक लायक और बेहतरीन संतान बनकर दिखाऊंगा, संसार की हर समस्या से बिना शिकायत जुझूँगा और उनसे पार पाकर दिखाऊंगा ।
एकबार पुनः धन्यवाद भगवानजी। मुझे और एक दिवस इस अद्भुत जीवन को जीने की खुशी देने के लिए।
इस लेख को पढ़ने वाले अगर मेरी बात से सहमत है तो इसे अपने सभी मित्रो और परिजनों से साझा करे | खुशीया बांटे। लोगो में जीने की उमंग जगाये।हताशा निराशा दूर करें। आत्मविश्वास बढ़ाकर उम्मीदों के चिराग रोशन करे। अवसाद से बाहर निकलने में मदद करें, आत्महत्या के विचारों को परे झटकें ।धन्यवाद ।