अमेरिका ने बांग्लादेश में हाल ही में हुए तख्तापलट और राजनीतिक उथल-पुथल में अपनी संलिप्तता के आरोपों को पूरी तरह से नकार दिया है। अमेरिकी प्रशासन ने कहा है कि इसमें उनकी कोई भूमिका नहीं है और यह आरोप पूरी तरह से गलत और बेबुनियाद हैं।
व्हाइट हाउस ने झूठा बताया आरोप
व्हाइट हाउस के प्रेस सचिव कैरीन जीन-पियरे ने सोमवार को मीडिया ब्रीफिंग के दौरान इन आरोपों का खंडन किया। उन्होंने कहा, “इसमें हमारी कोई भागीदारी नहीं है। सभी रिपोर्टें और अफवाहें केवल झूठ हैं। अमेरिकी सरकार की इसमें कोई भूमिका नहीं है।” जीन-पियरे ने बांग्लादेशी लोगों को अपने देश की राजनीतिक स्थिति का निर्णय स्वयं लेने की सलाह दी और अमेरिकी संलिप्तता के आरोपों को पूरी तरह से असत्य बताया।
अमेरिका की स्थिति पर निगरानी बनाए रखेगा
व्हाइट हाउस के बाहर हिंदुओं पर हुए हालिया हमलों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के दौरान, जीन-पियरे ने कहा कि अमेरिका स्थिति पर लगातार नजर रखेगा। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति मानवाधिकार मुद्दों पर सार्वजनिक और निजी तौर पर लगातार बयान देते आए हैं और यह जारी रहेगा।
विदेश नीति विशेषज्ञ ने भी खारिज किए आरोप
विदेश नीति विशेषज्ञ माइकल कुगेलमैन ने भी बांग्लादेश में हालिया संकट में विदेशी हस्तक्षेप के आरोपों को नकारा है। उन्होंने स्पष्ट किया कि शेख हसीना की सरकार के खिलाफ प्रदर्शन आंतरिक कारणों से उत्पन्न हुए थे। कुगेलमैन ने कहा कि प्रदर्शनकारी छात्रों की समस्याएं और सरकार की नीतियों के प्रति असंतोष ही आंदोलन का मुख्य कारण था, और इसमें विदेशी हस्तक्षेप का कोई सबूत नहीं मिला। शेख हसीना के बेटे साजिब वाजेद जॉय द्वारा लगाए गए आरोपों को भी उन्होंने खारिज किया।