इंदौर (Indore News) : स्वतंत्रता संग्राम में भागीदार रहे महा पुरूषों से प्रेरणा पा कर अन्याय का मुकाबला करने वाले प्रदेश के मालवा और निमाड़ (Malwa Nimar) जिनकी कर्मभूमि रही। ऐसे आदिवासी समाज के गौरव टंट्या भील की स्मृति को चिर स्थायी बनाने के लिये मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chouhan) ने आज अनेक महत्वपूर्ण घोषणाएं की। इन घोषणाओं का चहुंओर स्वागत किया जा रहा है। आदिवासी समाज में खुशी की लहर दौड़ गयी। उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री श्री चौहान ने आज मंडला में आयोजित जनजातीय गौरव दिवस सप्ताह के समापन समारोह में आदिवासी समाज के आर्थिक, सामाजिक एवं शैक्षणिक सशक्तिकरण के लिये अनेक महत्वपूर्ण घोषणाएं की है।
ये है गर्व जगाने वाली घोषणाएं
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने घोषणा करते हुये कहा कि प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, मानपुर का नाम टंट्या भील स्वास्थ्य केन्द्र होगा। पाताल पानी स्थित टंट्या भील मंदिर का जीर्णोद्धार किया जाएगा। पातालपानी रेलवे स्टेशन का नाम टंट्या भील रेलवे स्टेशन होगा। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि इंदौर स्थित भंवरकुआं चौराहे का नाम टंट्या भील चौराहा होगा। इसी प्रकार इंदौर में एमआर-10 बस स्टेण्ड का नाम टंट्या भील बस स्टेण्ड किया जाएगा।
युवाओं को मिलेगा नया आत्मबल
इन घोषणाओं का आदिवासी वर्ग के सभी वर्गों में चहुंओर स्वागत हो रहा है। इन घोषणओं से मालवा निमाड़ के वनवासी अंचल में ख़ुशी की लहर है। विशेष तौर पर विद्यार्थियों में अपार खुशी देखी जा रही है। इंदौर शहर के शैक्षणिक हब भवरकुंआ चौराहे का नाम टंट्या भील के नाम से किये जाने की घोषणा से विद्यार्थियों में आत्म सम्मान बढ़ा है। इस क्षेत्र में रहकर पढ़ाई करने वाले विजय अजनार, आशा डाबर, कविता भिडे़, अनिता सोलंकी, राहुल कनोजिया, अभिषेक डाबर आदि का कहना है कि इन घोषणाओं से युवाओं को नया आत्मबल मिलेगा।
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हमारे समाज के ऐसे योद्धा जिन्होंने अन्याय के खिलाफ आजीवन संघर्ष किया ऐसे व्यक्तित्व से हमें आगे बढ़ने की प्रेरणा मिलेगी। जोबट के अभिषेक सोलंकी का कहना है कि मुख्यमंत्री जी की घोषणा से समुचे मालवा- निमाड़ का वनवासी अंचल गौरवान्वित हुआ। धार जिले के धरमपुरी तहसील के ग्राम भवनिया के समाजिक कार्यकर्ता भारत परिहार ने बताया कि मुख्यमंत्री श्री चौहान की घोषणा सच्चे अर्थों में वन वासियों के प्रति सम्मान का परिचायक है।
पहली बार हुये इतने बड़े निर्णय
इसी तरह इंदौर के पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष श्री रामकरण भाभर ने बताया कि इन घोषणाओं से टंट्या मामा की विशेष कर्मस्थली रही महू क्षेत्र में अपार खुशी है। श्री भाभर का कहना है कि टंट्या भील की स्मृति को स्थायी बनाने के लिये पहली बार इतने बड़े निर्णय हुये है। हम सब मुख्यमंत्री जी के प्रति आभारी है।
टंट्या भील स्मारक की देखरेख से जुड़ी संस्था पातालपानी जनसेवा समिति के अध्यक्ष अर्जुन बारिया ने मुख्यमंत्री श्री चौहान के प्रति आभार व्यक्त किया है। इसी तरह जनपद सदस्य कांतिलाल कावड़ ने कहा कि इन घोषणाओं से टंट्या भील के व्यक्तित्व और कृतित्व को जन-जन तक पहुंचाने में मदद मिलेगी। महू क्षेत्र के ही धन्नालाल निनामा का कहना है कि देश-प्रदेश में महू क्षेत्र का गौरव बढ़ेगा।