शहर में भगवान राम जी के अद्भुत मंदिर कहीं परिसर में है रावण की मूर्ति, तो कहीं मूछों वाले भगवान राम और लक्ष्मण

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इंदौर। शहर में मर्यादा पुरषोत्तम भगवान राम के कई अद्भुत मंदिर स्थापित हैं, जिस तरह भगवान राम सौम्य, शालीन, वीर, गंभीर, और त्यागी है। इसी प्रकार उनके कई स्वरूप को बयां करते हुए शहर में कई मंदिर है। शहर के वेभवनगर कनाडिया में स्थित अपने राम का निराला धाम मंदिर है। इस मंदिर की खासियत ये है कि यहां पर भगवान राम और हनुमान के साथ-साथ रावण, कुंभकरण और मेघनाथ की भी पूजा होती है। इसी के साथ जूनी इंदौर क्षेत्र में भगवान राम का अनूठा मंदिर है। लाल मंदिर में भगवान राम और लक्ष्मण की मूंछों वाली प्रतिमाएं स्थापित हैं। रामनवमी के अवसर पर जानते है इन प्रचलित मंदिरो के बारे में।

अपने राम का निराला धाम मंदिर में भगवान राम और हनुमान के साथ-साथ रावण की भी होती है पूजा, 108 बार राम नाम लिखने से होती है मनोकामना पूर्ण

देश के साथ साथ शहर में भगवान राम के कई मंदिर हैं। जिसमें बात अगर शहर के कनाडिया स्थित प्रतिष्ठित अपने राम का निराला धाम मंदिर की करी जाए तो इस मंदिर का निर्माण साल 1990 में किया गया था। इस मंदिर की खासियत ये है कि यहां पर भगवान राम और हनुमान के साथ-साथ रावण, कुंभकरण और मेघनाथ की भी पूजा होती है, जो भक्तों के बीच आकर्षण का केंद्र है। रावण की मूर्ति और पूजा के पीछे यहां माना जाता है कि रावण महापंडित और ज्ञानी थे इसलिए वो हमेशा ही पूजनीय रहेंगे। इस मंदिर में एंट्री पाने के लिए 108 बार राम लिखना होता है, वहीं यह भी मान्यता हैं कि राम नाम लिखने से भक्त की हर मनोकामना पूर्ण हो जाती हैं। आपको जानकर हैरानी होगी कि इस मंदिर में किसी भी तरह का चढ़ावा चढाना मना है. इसलिए यहां कोई दानपेटी भी नहीं लगाई गई। इसी के साथ अन्य मूर्तियां भी स्थापित है, जिसमें त्रिजटा, मंथरा, शबरी, कैकयी,और सूर्पणखा की मूर्तियां स्थापित है, वहीं पास में कुन्ती, द्रौपदी, अहिल्या, मन्दोदरी, और तारा की भी मूर्तियां लगाई है।

लाल मंदिर में भगवान राम और लक्ष्मण की मूंछों वाली प्रतिमाएं हैं, वहीं कुएं से 10 साल बाद निकली हनुमानजी की प्रतिमा

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बात अगर शहर के प्रसिद्ध लाल मंदिर की करी जाए तो यह मंदिर अपनी विशेषताओं के कारण शहर में काफी प्रसिद्ध है। कहा जाता है कि इस मंदिर का निर्माण करीब 1888 में हुआ था। यहां भगवान राम और लक्ष्मण की मूंछों वाली प्रतिमाएं हैं। जो की सामान्य रूप से देखने को नही मिलती है। जहां भगवान राम हो वहां स्वयंभू हनुमान जी विराजित ना हो ऐसा मुमकिन नही। भगवान राम के इस दरबार में हनुमान जी की मूर्ति भी विराजित है। इस मूर्ति के बारे में कहा जाता है कि भगवान राम मंदिर बनने के करीब 10 साल बाद यह प्रतिमा परिसर में स्थित कुएं से निकली थी। इसके बाद यहां हनुमानजी की मूर्ति स्थापित की गई। इसी के साथ मंदिर में भगवान राम, माता सीता, लक्ष्मण के साथ ही इस मंदिर में राधा-कृष्ण और गणेशजी की भी मूर्तियां हैं। मंदिर में रामायण और महाभारत से जुड़े प्रसंगों की भी आकर्षक तस्वीरें लगी हुई हैं। यह मंदिर श्रद्धालुओं के बीच आकर्षण का केंद्र है। यहां कई भक्त दर्शन और अपनी मनोकामना लेकर आते हैं।