- अस्पताल के हर विभाग में मिली तमाम खामियां
- नाराजगी जताते हुए उप अधीक्षक को हटाया
- आधा दर्जन से अधिक डॉक्टरो को नोटिस देने के निर्देश दिए, सफाई कंपनी को भी लगाई फटकार
इंदौर। संभागायुक्त मालसिंह ने एमटीएच अस्पताल का दो घंटे तक सघन दौरा किया। इस दौरान उन्होंने एक-एक विभाग के दस्तावेजों को देखा। लगभग हर विभाग में खामियां पाने पर उन्होंने जिम्मेदारों को नोटिस देने के निर्देश दिए। वही अस्पताल के उप अधीक्षक डॉ. अनुपमा दवे को हटाने के निर्देश भी दिए। निरीक्षण के दौरान डीन डॉ. संजय दीक्षित व अन्य अधिकारी भी उपस्थित थे।
संभागायुक्त प्रात: 9 बजे ही एमटीएच अस्पताल पहुँच गए। सबसे पहले उन्होंने ओपीडी कक्ष का निरीक्षण किया। वहां पर डॉक्टर और स्टाफ उपलब्ध नही थे। पैथॉलाजी लैब के इंचार्ज डॉ. अनुपता दीघे भी ड्यूटी पर उपस्थित नही थी। माइक्रोबॉयोलाजी लैब का निरीक्षण करते हुए खामियां पाई गई। यहां ड्यूटी चार्ट लगाने, सिसटम सुधारने का कहा। डॉ. अंजू महोरा और डॉ. नेहा भी 10 बजे उपस्थित नही थी। बायोकेमेस्रिी रजिस्टर चेक किया। सैंपल देने में हो रही देरी पर नाराजगी जताई। घंटो सैंपल नही भेजे जा रहे जबकि नियमानुसार हर आधे घंटे में संबंधितों तक सैंपल भेजना होता है।
संभागायुक्त ने आयुष्मान ऑफिस के निरीक्षण के दौरान रजिस्टर और कम्प्युटर से जानकारी निकाली तो 1400 के पेंडिंग होने की बात सामने आई। उन्होंने सोनोग्राफी सिस्टम की बारिकी से पूछताछ की। गलत जानकारी देने पर कम्प्युटर ऑपरेटर को डांट लगाई। पैथॉलाजी लैब में टूटी हुई कुर्सियां मिली उन्हे हटाने को कहा। सैंपलों की अपूर्ण जानकारी पर कार्यवाही करने का कहा। जननी सुरक्षा योजना की जानकारी के संबंध में संतुष्टीपूर्ण जवाब नही मिलने पर उन्होंने प्रभारी पर कार्यवाही करने को कहा। डिलीवरी के बाद मिलने वाली राशि के बारे में उन्होंने पाया की पोर्टल पर इंट्री नही की गई।
उन्होंने जनरल वार्ड में भर्ती मरीजो के नाश्ते और भोजन के बारे में जानकारी ली। कुछ शिकायतें मिलने पर उन्होंने दुरूस्त करने के निर्देश दिए। स्टोर रूम प्रभारी डॉ. सुनीता द्वारा दवाइयों की जानकारी नही देने व उपयोगिता का हिसाब नही देने पर उन पर कार्यवाही के निर्देश दिये। डॉक्टर कक्ष में कागज फाइले मिलने पर उन्हे हटाने को कहा। मिल्क बैंक में रजिस्टर देखा। इस दौरान पता चला की 13 जुलाई के बाद किसी भी बच्चे को दूध नही दिया गया। लैब में ताले ही लगे हुए है। परिवार नियोजन विभाग में डॉक्टर नही थे। संभागायुक्त ने अस्पताल का सघन दौरा किया। उन्होंने सभी खामियां शीघ्र ठीक करने के निर्देश भी दिए।
उप अधीक्षक को हटाने के निर्देश
संभागायुक्त श्री मालसिंह द्वारा गुरूवार को एमटीएच अस्पताल का दौरा किया गया। इस दौरान अस्पताल उप अधीक्षक डॉ. अनुपमा दवे से उन्होंने व्यवस्थाओं, मरीजों की स्थिती खामियों सहित अन्य जानकारी चाही तो वे संतुष्टीपूर्ण जवाब नही दे सकी। उनका व्यवहार भी अनुकूल नही था। मरीजो की परेशानियों की बारे में भी नही बता सकी। संभागायुक्त ने नाराजगी जताते हुए उन्हे अस्पताल से हटाने के निर्देश डीन डॉ. संजय दीक्षित को दिए।
इन डॉक्टरों को नोटिस
अस्पताल निरीक्षण के दौरान डॉक्टरों की अनुपस्थित और सही जानकारी नही देने पर डॉ. रीया, डॉ. पारूल चौरसिया, डॉ. अनुपम डीके , डॉ. नेहा , डॉ. अंजू माहोरे, डॉ. अमित , डॉ. सुनीता देची तथा डॉ. दीपक तिवारी को नोटिस जारी करने के निर्देश दिए।
सफाई-पीने के पानी की व्यवस्था सबसे लच्चर
संभागायुक्त ने अस्पताल निरीक्षण के दौरान सफाई व्यवस्था बहुत ही खराब पाई। हर मंजिल के शौचालय गंदे थे, वही नल-फर्सियां टूटी हालत में थी। दीवारों और शौचालय में गंदगी पसरी हुई थी। सफाई कंपनी के इंचार्ज अमित को उन्ंहोने डांट लगाते हुए कहा कि ऐसी गंदगी से मरीजो को परेशानी होती है व्यवस्था नही सुधारी तो कंपनी पर कार्यवाही की जाएगी। पीने के पानी की व्यवस्था भी गड़बड़ाई हुई मिली। अस्पताल अधीक्षक इस बारे में ठीक से जानकारी नही दे सके। मरीजो को अपने स्तर पर ही पीने के पानी की व्यवसथा करने की जानकारी भी मिली। संभागायुक्त ने तीन दिन में दोनो व्यवस्था ठीक करने के निर्देश दिए।
मैं रात को भी आउंगा
संभागायुक्त ने अस्पताल प्रबंधन को स्पष्ट रूप से कहा कि किसी भी मरीज को परेशानी नही होना चाहिए। शासन द्वारा जो सुविधाएं दी जा रही है वो सब मरीजो को मिलना चाहिए। प्रबंधन ये न समझे की मैं आज आ गया हूँ तो अब नही आउंगा। ध्यान रहे मैं एक-दो दिन बाद कभी भी दिन में या रात में भी अस्पताल में आ सकता हुँ। जो अव्यवस्थाएं और खामियां आज मिली है उन्हे शीघ्र दुरूस्त करें। मैनेजमेंट सुधारे अगली बार आउं तब सुधार दिखना चाहिए नही तो सख्त कार्यवाही की जाएगी।