मंडी लाइसेंस को लेकर उप निरीक्षकों ने ली रिश्वत, इंदौर लोकायुक्त पुलिस ने की कार्यवाई

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इंदौर: आवेदक महेंद्र अग्रवाल के अनुसार उनके द्वारा शासन द्वारा निर्धारित नियमों के आधार पर व्यापारियों को वर्ष 2020 मे उनके स्थान से कृषि उपज क्रय हेतु क्रय केंद्र के मंडी लाइसेंस दिए गए थे जिसकी समयावधि निर्धारित नहीं थी। जिस पर उनके द्वारा कृषि उपज क्रय किया गया था। जिसका मंडी टैक्स भी चुकाया गया था। पोर्टल 31 जून 2020 को बिना सूचना के बंद हो जाने से उनका कुछ कृषि उपज विक्रय हेतु रह गया था।

जिसका उनके द्वारा पुनः मंडी शुल्क भुगतान कर उपज विक्रय किया गया था। मंडी सहायक उपनिरीक्षको द्वारा उनके गोदाम चेक करने पर स्टॉक में 141 क्वेंटल मक्का अतिरिक्त पाया गया। जिसके लिए सहायक उप निरीक्षकों द्वारा रिश्वत के रूप में रुपए 80000 मांग किए जा रहे थे। जिसकी सूचना आवेदक द्वारा पुलिस अधीक्षक लोकायुक्त इंदौर को की गई जिस पर कल दिनांक 13.9. 2021 को रिकॉर्डिंग कराई गई जिसमें बातचीत के दौरान रुपए15000 में लेनदेन तय हुआ।

जिसमें सभी सहायक उपनिरीक्षक के तीन तीन हजार एवं मंडी सचिव के रुपए 5000 निर्धारित थे आज दिनांक 14.9.2021 को मंडी कार्यालय में सुनील वास्कले सहायक उपनिरीक्षक मंडी को उनके कार्यालय में आवेदक महेंद्र अग्रवाल से रुपए 12000 की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों ट्रैप किया गया 2000 की राशि आरोपी क्रमांक 2 शुभम सोनी द्वारा पूर्व में ली जा चुकी थी तथा रुपए 1000 की राशि अभी रिश्वत देते समय डीजल भरवाने के नाम पर आवेदक द्वारा कम करा ली गई भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा 7, 13 (1) बी,120 (बी) आईपीसी के तहत मंडी कार्यालय में कार्यवाही अभी जारी।