इंदौर : कांग्रेस के विधायकों ने प्रदेश की शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व वाली सरकार को चेतावनी दी है कि वह बदले की भावना से कार्रवाई नहीं करें। प्रदेश के पूर्व मंत्री उमंग सिंगार के मामले में सरकार के द्वारा अपनाए जा रहे रुक को शर्मनाक करार दिया है।
कांग्रेस विधायक संजय शुक्ला एवं विशाल पटेल ने इस मामले में राज्य सरकार के रवैया को आपत्तिजनक बताया है। विधायक शुक्ला ने कहा कि पूर्व मंत्री उमंग सिंगार के मामले में निष्पक्ष तरीके से कानून को अपना काम करने देना चाहिए। सरकार को इस मामले में बदले की भावना से राजनीति करने से बाज आना चाहिए। यह देखने में आ रहा है कि सरकार इस दुर्घटना को अपनी राजनीति का अवसर बनाने की कोशिश में लग गई है । कांग्रेस के विधायकों और नेताओं को घेरने के लिए और उन पर दबाव बनाने के लिए सरकार की ओर से इस तरह की कोशिशें की जा रही है। सरकार की इन कोशिशों से मध्यप्रदेश में लोकतंत्र की जड़ें कमजोर होगी।
विधायक विशाल पटेल ने कहा कि राजनीति और कानून दोनों अपनी अपनी जगह है। राजनीति के लिए कानून का दुरुपयोग किसी भी हालत में स्वीकार्य नहीं किया जा सकता है। पूर्व मंत्री के आवास पर एक महिला द्वारा आत्महत्या किए जाने के मामले में महिला का बेटा और उसकी मां चीख चीख कर कह रहे हैं कि इस घटना में पूर्व मंत्री का कोई रोल नहीं है। इसके बाद भी सरकार अपने बुरे इरादों को परवान चढ़ाने के लिए पुलिस का उपयोग कर रही है। पूर्व मंत्री के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है जो कि निंदनीय है।
इस मामले में दोनों कांग्रेसी विधायकों ने मांग की है कि पुलिस के द्वारा दर्ज किए गए मुकदमे को रद्द किया जाए और पूरे मामले की अलग से एक उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए जाएं । वैसे तो यह मामला पूरी तरह से साफ है। इस मामले में पूर्व मंत्री उमंग सिंगार कहीं से लेकर कहीं तक दोषी नहीं है। ऐसी स्थिति में सरकार में बैठे भाजपा के नेताओं को अपने पद का दुरुपयोग करने से बाज आना चाहिए।