जयपुर: राजस्थान में सियासी खींचतान एक बीच अब फोन टेपिंग को लेकर भूचाल आया हुआ है। ग्रोह मंत्रालय द्वारा रिपोर्ट मांगने के बाद अब टेप कांड की जांच के लिए SIT का गठन किया गया है। एसआईटी के मुखिया सीआईडी के एसपी विकास शर्मा होंगे।एसआईटी में एंटी करप्शन ब्यूरो (एसीबी), स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (एसपीजी) और एंटी टेररिस्ट स्क्वायड (एटीएस) के एसपी स्तर के अधिकारी होंगे।
राजस्थान में गहलोत सरकार टिकेगी या गिरेगी, इसे लेकर सियासी समीकरण और उलझते जा रहे हैं। इस बीच फोन टैप मामले ने कई परेशानी बढ़ा दी है। कांग्रेस ने इसका आरोप भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) पर मढ़ा है, जबकि बीजेपी ने इससे पल्ला झाड़ते हुए उच्च स्तरीय जांच की मांग की है।
इस मामले में गिरफ्तार आरोपियों ने वॉइस सैंपल कोर्ट के आदेश के बाद भी देने से इनकार कर दिया है। अशोक सिंह और भरत मलानी ने सैंपल देने से इनकार कर दिया है। अब राजनीति इस बात की चल रही है कि किसने टेप केस को मंजूरी दी थी। इसे देखते हुए बीजेपी ने सीबीआई जांच की मांग की है।
बता दें, जो ऑडियो टेप वायरल हुआ है वह विधायकों की खरीद-फरोख्त से जुड़ा है। इसे देखते हुए गहलोत सरकार ने केस दर्ज कराया है। सरकार का कहना है कि विरोधी उनकी सरकार को गिराने के लिए डील कर रहे थे। इसी मामले में शनिवार को संजय जैन को कोर्ट में पेश किया गया, जहां बाद में कोर्ट ने उसे रिमांड पर भेज दिया।