सिंहस्थ-2028 के लिए 1451 करोड़ के नए कार्यों को मिली स्वीकृति, CM यादव ने दिया नियमित समीक्षा का आदेश

Abhishek singh
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मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने मंगलवार को सिंहस्थ-2028 की मंत्रिमंडलीय समिति की दूसरी बैठक की। इस दौरान गृह, पर्यटन, संस्कृति, और नगरीय विकास एवं आवास विभाग के तहत 1451 करोड़ रुपये की लागत से 56 परियोजनाओं को मंजूरी दी गई। इनमें गृह विभाग के अंतर्गत उज्जैन में कंपोजिट कंट्रोल रूम, नवीन थाना भवन, और खंडवा में इंटीग्रेटेड कमांड एवं कंट्रोल सेंटर के निर्माण के अलावा उज्जैन, खंडवा, देवास, इंदौर, आगर-मालवा, और खरगोन में पुलिस आवास, थाना, ट्रांजिट हॉस्टल, कैंप, और बैरक बनाने का भी प्रावधान है। नगरीय विकास एवं आवास विभाग द्वारा सिंहस्थ के दौरान प्रमुख मार्गों के चौड़ीकरण के लिए 5 सड़कों को मंजूरी दी गई है।

मुख्यमंत्री ने सिंहस्थ-2028 के लिए उज्जैन और इंदौर संभाग में चल रहे अधोसंरचनात्मक कार्यों की प्रगति की समीक्षा करने का निर्देश दिया और इसे हर 15 दिन में करने के लिए कहा। उन्होंने बताया कि यदि किसी कार्य में देरी हो, तो इसके कारणों का तुरंत समाधान किया जाए, और निर्माण एजेंसियों की साप्ताहिक निगरानी सुनिश्चित की जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि इन दोनों संभागों में दो ज्योतिर्लिंग होने के कारण श्रद्धालुओं का आगमन और धार्मिक गतिविधियाँ अधिक होंगी, इसलिए इन कार्यों की निगरानी और समन्वय उच्च स्तर पर होना चाहिए।

प्रयागराज और हरिद्वार के मॉडल को अपनाने की योजना

सिंहस्थ-2028 की व्यवस्थाओं को उत्कृष्ट बनाने के उद्देश्य से प्रयागराज और हरिद्वार कुंभ के मॉडल का गहन अध्ययन किया जाएगा। इसमें क्राउड मैनेजमेंट, ड्रोन सर्वे, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के उपयोग, और अन्य नवाचारों की बेहतरीन प्रक्रियाओं को उज्जैन में लागू किया जाएगा।

इंदौर और उज्जैन में बस अड्डों के विकास के लिए नई पहल

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने इंदौर और उज्जैन जिलों में बस अड्डों की क्षमता बढ़ाने और नए बस अड्डों के निर्माण के लिए एक कार्य योजना तैयार करने के निर्देश दिए हैं। यह योजना मार्च 2025 तक तैयार कर ली जाएगी।

सिंहस्थ-2028 के लिए पर्यटन और सांस्कृतिक विकास की नई पहल

मंत्रिमंडलीय समिति ने पर्यटन और संस्कृति के क्षेत्र में लगभग 200 करोड़ रुपये के विकास कार्यों को मंजूरी दी है, जिनमें महेश्वर में नर्मदा रिसॉर्ट, ओंकारेश्वर में नया होटल, मंदसौर में पर्यटन सुविधा केंद्र और उज्जैन के प्रमुख स्थलों का उन्नयन शामिल है। सिंहस्थ-2028 को ध्यान में रखते हुए धर्मशालाओं के सुधार और प्रशासनिक ढांचे के विस्तार के लिए भी योजनाएं बनाई जा रही हैं।