प्रदेश के स्कूल शिक्षा राज्यमंत्री इंदर सिंह परमार इन दिनों पालकों को खरी-खोटी सुनाने में लगे हुए है। लेकिन इसके बाद भी वह अपनी गलती मानने के लिए तैयार नहीं है। दरअसल, अभी मंत्री जी ने उक्त घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि गलती हो गई, पालकों पर एफआइआर दर्ज कराई जानी चाहिए थी। स्कूल फीस को लेकर सरकार ने उचित प्लेटफार्म बनाया है।
जानकारी के अनुसार, मंत्री निजी स्कूलों की मनमानी की शिकायत को लेकर बैकफुट पर भी आ गए हैं। दरअसल, उन्होंने जवाहरलाल नेहरू स्कूल में बच्चों की फीस में 63 फीसद वृद्धि की शिकायत पर जांच बैठा दी है। ऐसे में दो दिन के अंदर जांच रिपोर्ट तलब की गई है। मामला ये है कि अभिभावक संगठन ने शिकायत दर्ज कराई थी कि जवाहरलाल नेहरू स्कूल भेल प्रायमरी विंग गोविंदपुरा एवं जवाहरलाल नेहरू स्कूल भेल सीनियर विंग हबीबगंज ने कोरोना संक्रमण के दौरान लगभग 63 फीसद फीस बढ़ा दी है।
ऐसे में इस शिकायत के बाद विद्यालय द्वारा तीन सत्रों में लिए गए शुल्क का परीक्षण कराकर इसकी जांच रिपोर्ट दो दिन में देने के लिए कहा गया है। वहीं इस दौरान पालक संगठन के प्रदेश अध्यक्ष कमल विश्वकर्मा ने बताया है कि यह अफसोस की बात है कि शिक्षा मंत्री इस तरह के बयान दे रहे हैं। जबकि वे खुद एलएलबी डिग्रीधारी हैं। हम लोग बच्चों के पालक हैं, कोई गुंडे नहीं हैं।