षडाष्टक योग के साथ बन रहे कई दुर्लभ योग, इन 3 राशियों का जनवरी तक गोल्डन टाइम, तरक्की के साथ धन लाभ के प्रबल योग

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ज्योतिष शास्त्र में न्याय और दंड के देवता शनि और शौर्य, साहस और बल के कारक मंगल का विशेष महत्व है। इन दोनों ग्रहों की स्थिति से विभिन्न प्रकार के योग बनते हैं, जिनका प्रभाव जीवन पर पड़ता है। इस समय, शनि और मंगल के बीच बनने वाला षडाष्टक योग खासा महत्वपूर्ण माना जा रहा है। यह योग विशेष रूप से उन राशियों के लिए लाभकारी हो सकता है, जिन पर इन दोनों ग्रहों का आशीर्वाद होगा। आइए जानते हैं इस योग के बनने से किस राशियों को लाभ मिल सकता है और षडाष्टक योग किस प्रकार से प्रभाव डालता है।

क्या है षडाष्टक योग?

षडाष्टक योग तब बनता है जब दो ग्रह एक-दूसरे से 150 डिग्री की दूरी पर होते हैं या फिर वे एक-दूसरे के छठे और आठवें भाव में स्थित होते हैं। ज्योतिष शास्त्र में सामान्यतः इस योग को अशुभ माना जाता है, लेकिन इस बार मंगल और शनि के बीच यह संयोग कुछ राशियों के लिए शुभ साबित हो सकता है। खासकर जब शनि अपनी मूल त्रिकोण राशि कुंभ में और मंगल कर्क राशि में वक्री होकर 21 जनवरी 2025 तक उपस्थित होंगे। इस समय दोनों ग्रह एक-दूसरे के छठे और आठवें भाव में स्थित होंगे, जिससे यह योग बन रहा है।

षडाष्टक योग बनने से किन राशियों को मिलेगा लाभ?
कुंभ राशि (Aquarius)

कुंभ राशि के जातकों के लिए शनि और मंगल का यह संयोग बेहद लाभकारी हो सकता है। षडाष्टक योग से आत्मविश्वास और साहस में वृद्धि होगी। किसी भी क्षेत्र में सफलता प्राप्त करने के अच्छे अवसर मिलेंगे। पुराने और रुके हुए काम आसानी से पूरे हो सकते हैं। व्यापार में नए अवसर और बड़ा निर्णय लेने का समय है। नौकरी में भी कोई बड़ा मौका मिल सकता है। स्वास्थ्य में भी सुधार होगा और करियर में नई दिशा मिल सकती है। इस समय आप निवेश के बड़े फैसले ले सकते हैं।

मेष राशि (Aries)

मेष राशि के जातकों के लिए शनि और मंगल का यह संयोग लाभकारी हो सकता है। इस समय आपके जीवन में आय के नए स्त्रोत खुल सकते हैं और हर क्षेत्र में सफलता प्राप्त हो सकती है। कार्यस्थल पर प्रमोशन या वेतनवृद्धि की संभावना है। परिवार में सुख-समृद्धि आएगी और घर में शांति का माहौल रहेगा। व्यापार में आप नए अवसरों की योजना बना सकते हैं, और वैवाहिक जीवन में भी खुशियां आ सकती हैं। जीवन में सकारात्मक बदलाव देखने को मिल सकते हैं।

तुला राशि (Libra)

तुला राशि के जातकों के लिए यह षडाष्टक योग शुभ साबित हो सकता है। इस समय भाग्य का पूरा साथ मिलेगा और आर्थिक स्थिति मजबूत हो सकती है। दोस्तों और परिवार से पूरा सहयोग प्राप्त होगा। आपके लंबे समय से रुके हुए काम पूरे हो सकते हैं। आर्थिक स्थिति में सुधार आएगा, और परिवार में चली आ रही समस्याएं समाप्त हो सकती हैं। शनि और मंगल की कृपा से आपके कार्यों में तेजी आएगी और सफलता प्राप्त होगी।

षडाष्टक योग का प्रभाव:

जब शनि और मंगल एक-दूसरे के छठे और आठवें भाव में होते हैं, तो इसे षडाष्टक योग कहा जाता है। इस योग का प्रभाव सामान्यतः अशुभ माना जाता है, लेकिन इस बार शनि और मंगल के संयोग से यह कुछ राशियों के लिए शुभ परिणाम ला सकता है। यह योग जातकों पर शनि के साथ-साथ मंगल की विशेष कृपा भी डाल सकता है। इस समय जातक अपने जीवन में महत्वपूर्ण फैसले ले सकते हैं और अपने कार्यक्षेत्र में सफलता प्राप्त कर सकते हैं।

षडाष्टक योग कब बनता है?

षडाष्टक योग तब बनता है जब दो ग्रह एक-दूसरे से 150 डिग्री की दूरी पर होते हैं, या फिर वे एक-दूसरे के छठे और आठवें भाव में स्थित होते हैं। इस समय, शनि और मंगल के बीच का संयोग षडाष्टक योग के रूप में प्रकट हो रहा है, और यह कुछ राशियों के लिए फायदेमंद हो सकता है। विशेष रूप से कुंभ, मेष और तुला राशि के जातकों को इससे अच्छा लाभ हो सकता है।