हरिद्वार में 2020 से ही कुंभ की तैयारी की जा रही हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि अखाड़ों के संत चाहते हैं कि इसकी तैयारी 2020 से ही की जाए। जिसके बाद अब सरकार ने भी ये साफ कर दिया है कि इस बार का कुंभ बेहतर से बेहतर होगा। लेकिन 2021 की तैयारी से ही होगा। वो भी कोरोना को ध्यान में रखते हुए खौफ के बीच इसकी तैयारी की जाएगी। इसको लेकर अखाड़ा परिषद का कहना है कि व्यवस्था 2010 की तरह होनी चाहिए, जहां संत भी आएंगे, कैम्प भी लगेंगे और स्नान भी होगा।
इस पर सरकार का कहना है कि 2021 की तुलना किसी दूसरे कुंभ से नहीं कर सकते। इसीलिए 2021 का कुंभ 2021 की तरह से होगा। वो भी बेहतर से बेहतर। इस बात को बीजेपी विधायक मुन्ना सिंह चौहान ने मुख्यमंत्री की तरफ से साफ किया है। जानकारी के अनुसार, इस कुंभ को लेकर अखाड़ा परिषद और मुख्यमंत्री के बीच कई दौर की बैठक हो चुकी हैं।
लेकिन हर बार मुख्यमंत्री ने इस बात को साफ़ करते हुए कहा है कि कोरोना के हालात के मुताबिक, फैसला होगा। इसके बावजूद भी संतों का कहना है कि अभी कोरोना कम है। इसीलिए मेला होगा, अगर कोरोना बढ़ेगा तो बैठकर कर बात होगी। दरअसल, मार्च में कोरोना को एक साल पूरा हो जाएगा। इसलिए ऐसा कहा जा रहा है कि शुरुआत से लेकर अबतक कोरोना का असर कुंभ की तैयारियों पर पड़ा है।
वहीं ऐसा माना जा रहा है कि करोड़ों लोगों का सैलाब नई मुसीबत न खड़ी कर दे। ये बात सरकार को सता रही हैं। क्योंकि अभी तक वैक्सीन नहीं आई है। वैक्सीन आने पर कुंभ को सबसे पहले ध्यान में रखने की बात मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र रावत खुद प्रधानमंत्री मोदी से कह चुके हैं। जानकारी के अनुसार, उत्तराखंड के शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक ने कहा कि साल 2021 का कुंभ मेला 48 दिवसीय होगा। उत्तराखंड सरकार फरवरी अंत तक मेले की अधिसूचना जारी करेगी। लेकिन अभी से तैयारियां हो रही हैं।
हरिद्वार कुंभ में 11 मार्च 2021 को पहला और 27 अप्रैल को होगा अंतिम शाही स्नान
शाही स्नान के दिन – गुरुवार, 11 मार्च 2021 महाशिवरात्रि, सोमवार, 12 अप्रैल सोमवती अमावस्या, बुधवार, 14 अप्रैल मेष संक्रांति और वैशाखी, मंगलवार, 27 अप्रैल चैत्र माह की पूर्णिमा.