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अब महाराष्ट्र पर बन रहा ब्लैक फंगस का खतरा! 2000 से ज्यादा मरीज हो सकते हैं शिकार

corona patients

महाराष्ट्र सरकार ने म्यूकोरमाइकोसिस के मामलों का उपचार करने के लिए मेडिकल कॉलेज से जुड़े अस्पतालों का उपयोग करने का फैसला किया है जो कि कोविड-19 मरीजों को प्रभावित कर रहा है. हालांकि, इसके कम ही मामले सामने आए हैं. राज्य के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने मंगलवार को यह जानकारी दी. उन्होंने कहा कि अब तक राज्य में म्यूकोरमाइकोसिस के 2000 से अधिक मरीज हो सकते हैं और कोविड-19 मरीजों के बढ़ते मामलों के बीच इनकी संख्या में भी अवश्य इजाफा होगा.

टोपे ने कहा कि “म्यूकोरमाइकोसिस की मृत्यु दर 50 फीसदी है और यह उन कोविड-19 मरीजों को अपनी चपेट में लेता है जिनकी रोग-प्रतिरोधक क्षमता कम है या वे पहले ही अन्य बीमारियों से ग्रस्त हैं. म्यूकोरमाइकोसिस को काला कवक के नाम से भी पहचाना जाता है.”

इससे पहले टोपे ने सोमवार को कहा था कि “म्यूकोरमाइकोसिस के मरीजों का इलाज राज्य सरकार की प्रमुख चिकित्सा बीमा योजना के तहत मुफ्त में किया जाएगा. म्यूकोरमाइकोसिस रोगियों को महात्मा ज्योतिबा फुले जन आरोग्य योजना के तहत कवर किया जाएगा क्योंकि इस कवक संक्रमण से निपटने के लिए जरूरी दवाएं महंगी हैं. स्वास्थ्य योजना के तहत शामिल 1,000 अस्पतालों में ऐसे मरीजों का मुफ्त इलाज किया जाएगा.”

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