मध्य प्रदेश रच रहा सोलर एनर्जी के सेक्टर में कीर्तिमान, 12 सालों में तय किया 500 से 7 हजार मेगावॉट का सफर

मध्य प्रदेश की मोहन यादव सरकार तेजी के साथ विकास की ओर बढ़ रही हैं।औद्योगिक क्षेत्र के साथ-साथ सोलर एनर्जी के क्षेत्र में मध्य प्रदेश पूरी रफ्तार के साथ आगे बढ़ रहा है और नए कीर्तिमान रचने जा रहा है।

दरअसल, जिस रिन्यूएबल एनर्जी की क्षमता राज्य में साल 2012 में करीब 500 मेगावॉट थी। अब साल 2024 में उसी रिन्यूएबल एनर्जी की क्षमता बढ़ कर 7 हजार मेगावॉट हो गई है। इसका मतलब यह 12 सालों में करीब 14 गुना बढ़ा है। इसी के साथ मध्य प्रदेश की कुल पॉवर कैपेसिटी में रिन्यूएबल एनर्जी का हिस्सा 21 प्रतिशत हो गया है।

बता दें कि साल 2030 तक राज्य सरकार की योजना है कि प्रदेश में रिन्यूएबल एनर्जी की प्रोडक्शन कैपेसिटी क्षमता को 20 हजार मेगावॉट किया जाए। इस समय प्रदेश में रीवा और ओंकारेश्वर में ग्लोबल लेवल के सोलर प्रोजेक्ट मौजूद है। मध्य प्रदेश ने सोलर एनर्जी के सेक्टर में शानदार काम किया और लगातार कर रहा है।

मध्य प्रदेश रच रहा सोलर एनर्जी के सेक्टर में कीर्तिमान, 12 सालों में तय किया 500 से 7 हजार मेगावॉट का सफर

1500 मेगावॉट क्षमता का सोलर पार्क आगर-शाजापुर-नीमच में निर्माणाधीन है। इस सोलर पार्क में आगर जिले की 550 मेगावॉट की क्षमता स्थापित की जा चुकी है।