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MP के छात्रों के लिए खुशखबरी, कम नंबर लाकर भी हो सकेंगे पास, जानें नई परीक्षा व्यवस्था

MP के छात्रों के लिए खुशखबरी, कम नंबर लाकर भी हो सकेंगे पास, जानें नई परीक्षा व्यवस्था

नई शिक्षा नीति के तहत, मध्य प्रदेश में बीए, बीकॉम और बीएससी जैसे ग्रेजुएट पाठ्यक्रमों के छात्रों के लिए सतत एवं व्यापक मूल्यांकन (CCE) अनिवार्य कर दिया गया है। इस नई प्रणाली के लागू होने से अब छात्रों के लिए परीक्षा पास करना पहले की अपेक्षा आसान हो गया है।

अब पास होने के लिए कितने अंक चाहिए?

गौरतलब है कि पहले परीक्षा उत्तीर्ण करने के लिए न्यूनतम 33 अंक आवश्यक थे, लेकिन अब सतत एवं व्यापक मूल्यांकन (CCE) के अंकों को जोड़ने के बाद, ग्रेजुएट छात्रों को पास होने के लिए केवल 20 से 23 अंक प्राप्त करना पर्याप्त होगा। CCE के तहत मिलने वाले अंक मुख्य परीक्षा में जोड़े जाते हैं, जिससे छात्र कम अंक प्राप्त करने के बावजूद आसानी से उत्तीर्ण हो सकते हैं।

सीसीई प्रक्रिया क्या है ?

सतत एवं व्यापक मूल्यांकन (CCE) एक मूल्यांकन प्रणाली है, जो छात्रों की सालभर की पढ़ाई, प्रोजेक्ट कार्य, असाइनमेंट, प्रस्तुति और कक्षा में भागीदारी जैसे पहलुओं के आधार पर अंक प्रदान करती है। CCE के तहत छात्रों का 15 अंकों का मूल्यांकन किया जाता है, जिसे मुख्य परीक्षा के अंकों में जोड़ा जाता है। इस प्रणाली का मुख्य उद्देश्य छात्रों को पूरे वर्ष अध्ययन से जोड़े रखना और उनकी सफलता को केवल अंतिम परीक्षा पर निर्भर न रहने देना है।

 

 

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