बीजेपी सांसद और पूर्व क्रिकेटर गौतम गंभीर की मुश्किलें बढ़ गई है. दरअसल दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा कि “वह अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी हैं औ नेता हैं. उन्होंने जरूरतमंदों की मदद के लिए फैबीफ्लू जैसी दवाइयां लेकर बांटी होंगी, लेकिन सवाल यह है कि क्या उनका यह तरीका सही था जब उन दवाइयों की इतनी किल्लत चल रही हो? आपको बता दें कि दिल्ली हाईकोर्ट ने इस मामले की सुनवाई के दौरान कहा था कि क्या गौतम गंभीर कोविड-19 के इलाज के लिए इस्तेमाल की जा रही दवाएं बड़ी मात्रा में खरीदने और उन्हें लोगों के बीच बांटने में सक्षम हैं?”
दिल्ली हाईकोर्ट ने ड्रग कंट्रोलर को निर्देश दिया है कि “वह इस मामले में शामिल हर व्यक्ति की जिम्मेदारी तय करे और कार्रवाई करें. हाईकोर्ट ने कहा कि हमारे विचार में तीन मामलों की जांच की जानी चाहिए. एमपी बीजेपी गौतम गंभीर, आप विधायक प्रीति तोमर और आप विधायक प्रवीण कुमार पर जो आरोप लगे हैं जहां तक गंभीर की बात है तो एक डॉक्टर गर्ग के लिखे पर्चे पर 2628 स्ट्रिप खरीदी और बांटने का मामला है.”