किसान हितैषी मुख्यमंत्री ने खोले विकास के द्वार : मंत्री पटेल

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भोपाल : किसान-कल्याण तथा कृषि विकास मंत्री श्री कमल पटेल ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान सबसे बड़े किसान हितैषी मुख्यमंत्री हैं। उन्होंने पुन: मुख्यमंत्री बनते ही विकाkamal स के द्वार खोल दिये हैं। प्रतिदिन विकास के नये काम प्रारंभ किये जा रहे हैं। मंत्री श्री पटेल भोपाल के साकेत नगर में 10 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित होने वाले नवीन कृषक विश्राम-गृह-सह-प्रशिक्षण केन्द्र के भूमि-पूजन समारोह को संबोधित कर रहे थे। भूमि-पूजन समारोह की अध्यक्षता विधायक श्रीमती कृष्णा गौर ने की

मंत्री श्री पटेल ने कहा कि मध्यप्रदेश राज्य कृषि विपणन बोर्ड द्वारा किसानों के लिये अत्याधुनिक कृषि तकनीक एवं उन्नत कृषि के लिये प्रशिक्षण केन्द्र-सह-विश्राम-गृह का निर्माण कराया जा रहा है। इसमें उत्पादन के साथ ही अधिकतम लाभ अर्जन के लिये बेहतर विपणन के लिये भी प्रशिक्षण दिया जायेगा। मंत्री श्री पटेल ने कहा कि हमारी सरकार महात्मा गाँधी के स्वप्न को साकार कर रही है। गाँधी जी ने कहा था कि किसान इस देश की आत्मा और मूल रीढ़ हैं। किसान का विकास होगा, तो देश का विकास होगा।

उन्होंने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री श्री अटल बिहारी वाजपेयी और प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में किसानों एवं गाँवों का इतना विकास हो रहा है कि धीरे-धीरे गाँव और शहर का भेद खत्म हो रहा है। श्री पटेल ने कहा कि हमारी सरकारों द्वारा ऐसी नीतियाँ बनाई जा रही हैं, जिससे किसानों को अधिकतम लाभ मिल सके। आत्म-निर्भर भारत और आत्म-निर्भर मध्यप्रदेश बनाने के लिये किसानों को आर्थिक रूप से सशक्त कर आत्म-निर्भर बनाने के लिये सरकार दृढ़ संकल्पित है।

गोविंदपुरा को मिली महत्वपूर्ण सौगात के लिये आभार
विधायक श्रीमती कृष्णा गौर ने गोविंदपुरा क्षेत्र को मिली महत्वपूर्ण सौगात के लिये कृषि मंत्री श्री पटेल का आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि कृषि मंत्री श्री पटेल ने भूमि-पूजन कर भाईदूज की अग्रिम भेंट दी है।

31 हजार वर्ग फीट में बनेगा कृषक विश्राम-गृह
एम्स हॉस्पिटल के पीछे अत्याधुनिक कृषक विश्राम-गृह-सह-प्रशिक्षण केन्द्र 31 हजार वर्ग फीट में बनाया जायेगा। यह भवन भू-तल के अतिरिक्त 3 मंजिला रहेगा। इसमें ऑडिटोरियम, कम्प्यूटर-रूम के अतिरिक्त 50 कृषकों के ठहरने की उत्तम व्यवस्था रहेगी। भवन के बेसमेंट में 35 कारों के खड़े रहने का स्थान रहेगा। भवन की लागत 8 करोड़ 84 लाख रुपये होगी।

फर्नीचर इत्यादि के लिये 2 करोड़ रुपये का प्रावधान पृथक से किया गया है। इस प्रकार भवन 10 करोड़ रुपये से अधिक की लागत से 18 माह में तैयार किया जायेगा। मंत्री श्री पटेल ने मण्डी बोर्ड के अधिकारियों को समयावधि में गुणवत्तापूर्ण निर्माण कार्य करने के निर्देश दिये हैं। उन्होंने हिदायत भी दी है कि गुणवत्ता से समझौता करने पर संबंधितों के विरुद्ध सख्त कार्यवाही की जायेगी।

इस अवसर पर मध्यप्रदेश वेयर-हाउसिंग कॉर्पोरेशन के पूर्व अध्यक्ष श्री सुधीर अग्रवाल, श्री केवल मिश्रा, श्री धर्मेन्द्र परिहार, श्री बारेलाल अहिरवार, पार्षद श्रीमती सीमा यादव और कृषक एवं अधिकारीगण मौजूद थे।