35a के संविधान का सबसे बड़ा धोखा है ये विचार जम्मू कश्मीर अध्ययनशाला के धारा 370 व 35 A par मुख्य वक्ता श्री दिलीप जी दुबे ने रविवार को प्रीतमलाल दुआ सभागृह में रखे, उन्होंने कहा कि जम्मू कश्मीर के राजा ने नहीं दिल्ली की सरकार ने अधिमिलन में देरी की थी कश्मीर का अधिमिलन संवैधानिक रूप से पूर्ण है एवं उसी प्रारूप में हुआ जैसा कि बाकी सभी रियासतों का हुआ धारा 370 अस्थाई है एवं उसे हटाया जा सकता है!
धारा 35A जो सबसे बड़ा संविधानिक धोखा है जो जम्मू कश्मीर के ही नागरिकों को खासकर दलितों महिलाओं एवं पाक से आए हुए शरणार्थी एवं उनके वंशजों को सर्वाधिक प्रभावित करता है यह धारा उन्हें शिक्षा रोजगार सरकारी सहायता जैसे मूल अधिकारों से वंचित रखती है उन्होंने कहा की धारा 35 A जम्मू कश्मीर राज्य को पाक अधिकृत कश्मीर से घुसपेठियो को भारत की नागरिकता देने का अधिकार देती है जो एक ख़तरनाक निर्णय है !इस विषय पर निरंतर परिचर्चा पुरे देश में आवश्यक है जिससे जनचेतना जागृत हो एवं कश्मीर समस्या का संपूर्ण समाधान एवं देश के किसी अन्य भूभाग पर पुनः अलगाववाद की समस्या सर ना उठाए ! बहुल जी शास्त्री मुख्य अतिथि थे उन्होंने कहा की कश्मीर विषय को राजनैतिक चश्मे से देखने के कारण आज तक कोई भी राजनितिक पार्टी ने इसका समाधान नहीं किया कश्मीर की समस्या धारा 370 नहीं अपितु 35 A है !
विशेष अतिथि देवेंद्र जी शर्मा प्रख्यात कार्टूनिस्ट ने कश्मीर समृद्धि विषयों पर अपने कार्टून का संकलन द्वारा सशक्त अभिव्यक्ति प्रदर्शित की, कार्यक्रम की भूमिका डॉ रत्नेश खरे ने रखी अंत में जिज्ञासा समाधान का भी समय रखा गया था ! कार्यक्रम के सूत्रधार श्र प्रेम जी जोशी एवं देवेंद्र दुबे भी उपस्थित थे. कार्यक्रम के अंत में वन्दे मातरम से हुआ।