अगले कई सालों के हिसाब से अपग्रेड होगा एयरपोर्ट, 100 करोड़ के विकास कार्य प्रारंभ, सांसद लालवानी ने किया भूमिपूजन

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इंदौर। इंदौर में अत्याधुनिक एयर ट्रेफिक कंट्रोल टावर, फायर स्टेशन, टेक्निकल ब्लॉक और कम्युनिकेशन बिल्डिंग का भूमिपूजन सांसद शंकर लालवानी ने किया, अगले कई सालों के हिसाब से एयरपोर्ट अपग्रेड होगा। एयरपोर्ट पर 100 करोड़ रूपये के विकास कार्य प्रारंभ हो गए है। अब एयरपोर्ट पर बड़े विमानों को फायर सेफ्टी मिल पाएगी। एयरपोर्ट से एक घन्टे में 30 फ्लाइट लैंड और टेक ऑफ कर सकेंगी। यानी हर 2 मिनट में एक फ्लाइट टेक ऑफ या लैंड कर सकेगी।

इंदौर के देवी अहिल्या एयरपोर्ट पर यात्रियों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है और इसी के साथ एयरपोर्ट को अपग्रेड करने का काम भी किया जा रहा है। इंदौर एयरपोर्ट पर करीब 80 करोड रुपए की लागत से एटीसी यानी एयर ट्रेफिक कंट्रोल टॉवर, फायर स्टेशन, टेक्निकल एवं कम्युनिकेशन बिल्डिंग बनने जा रही है।

वर्तमान एटीसी टॉवर काफी पुराना हो गया है ऐसे में इसे अपग्रेड करना ज़रुरी था। नया बनने वाला एटीसी अत्याधुनिक राडार एवं तकनीक से युक्त होगा। वर्तमान में एयरपोर्ट से हर घन्टे 12 फ्लाइट लैंड एवं टेक ऑफ कर सकती है वहीं नए एटीसी टॉवर बनने से क्षमता दोगुना से ज़्यादा हो जाएगी। साथ ही, समय के साथ इसे अपग्रेड भी किया जा सकता है। एयरपोर्ट की आने वाले कई सालों की जरूरतों को देखते हुए इसे तैयार किया जा रहा है।

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वर्तमान में इंदौर की टेक्निकल सुविधाओं के साथ एटीसी किसी भी एयरक्राफ्ट को 100 किलोमीटर की दूरी से कंट्रोल कर सकता है। वहीं नई सुविधाओं के बाद एयरक्राफ्ट 150 किलोमीटर दूर होने से भी कंट्रोल किया जा सकता है। अभी इंदौर एयरपोर्ट के कंट्रोल में विमानों के बीच की दूरी 10 मील होना ज़रुरी है लेकिन अपग्रेडेशन के बाद इसे घटाकर 5 मील तक लाया जा सकता है जिससे एयरक्राफ्ट हैंडलिंग कैपिसिटी बढ़ जाएगी।

किसी भी एयरपोर्ट पर बड़े हवाई जहाजों को उतारने के लिए आवश्यक नॉर्म्स से हिसाब से सुरक्षा दिए जाने की जरूरत होती है। वर्तमान फायर स्टेशन से बड़े जहाजों को उतरने का अप्रूवल देना संभव नहीं है। नया फायर स्टेशन बनने के बाद बड़े हवाई जहाज के लिए भी सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम इंदौर एयरपोर्ट पर होंगे।

इंदौर के सांसद शंकर लालवानी ने इन सभी सुविधाओं के लिए भूमिपूजन किया। नई सुविधाओं के पूरा होने के बाद पुराने एटीसी टॉवर और फायर स्टेशन को शिफ्ट किया जाएगा और यहां एयरपोर्ट टर्मिनल बनाने के लिए जगह उपलब्ध होगी। साथ ही, डोमेस्टिक कार्गो और पेरिशेबल कार्गो का काम भी तेजी से चल रहा है। इनकी लागत करीब 10 करोड़ रु है। इंदौर एयरपोर्ट पर कुल मिलाकर 100 करोड़ रु से ज़्यादा के विकास कार्य चल रहे हैं। साथ ही दो नए एयरोब्रिज भी बनाए गए हैं जिनका काम अंतिम चरण में है। एयरपोर्ट पर अब तक तीन एयरोब्रिज थे जिन की संख्या बढ़कर 5 हो जाएगी।

सांसद शंकर लालवानी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया को धन्यवाद दिया और कहा कि इंदौर एयरपोर्ट से यात्रियों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है। ऐसे में एयरपोर्ट पर आधुनिक भविष्य की ज़रूरतों के हिसाब से इंफ्रास्ट्रक्चर की ज़रुरत है। आज नए एटीसी टॉवर, टेक्निकल एवं कम्युनिकेशन बिल्डिंग तथा नए फायर स्टेशन का भूमिपूजन किया है जो अत्याधुनिक तकनीक पर काम करेगा। ये इंदौर एयरपोर्ट की आने वाले कई वर्षों को ध्यान में रखकर बनाया जा रहा है।