आचार सहिंता लगने के बाद प्रशासन हुआ सख्त, सरकारी कर्मचारियों की छुट्टियों को किया निरस्त

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भोपाल: बाहर जाने के लिए कलेक्टर से अब तमाम कर्मचारियों को अनुमति लेनी पड़ेगी। वही सार्वजनिक अवकाश के दिन भी कार्यालय खुले रहेंगे। सीएम, आवास मंत्री, सांसद, विधेयकों के निजी स्टाफ को बुलाया गया है। जानकारी के मुताबिक सरकारी कर्मचारियों की छुट्टियों को कैंसिल कर दिया गया है। क्योंकि आचार संहिता लागू है और इसीलिए धारा 144 लागू है।

आचार संहिता के चलते सभी कर्मचारियों को मुख्यालय पर ही रहने के निर्देश जारी किए गए हैं। तमाम जो सरकारी डॉक्यूमेंट्री काम हैं, उनको पूरा करना है। बाहर जाने के लिए कलेक्टर से अनुमति लेनी पड़ेगी। सरकारी कर्मचारियों के अवकाश पर रोक इसी लिए लगा दी गई है। 17 नवंबर को मध्यप्रदेश में वोटिंग होगी और अब जो चुनाव प्रचार प्रसार का कार्यक्रम है वो भी तेज हो जाएगा। लेकिन इन सबके बीच जो अधिकारी, कर्मचारी और खास तौर पर जो ऐड्मिनिस्ट्रेटिव जो कर्मचारी हैं उनके पास अब बड़ी जिम्मेदारी होती है क्योंकि शांतिपूर्ण रूप से मतदान कराना है और तनाव समाप्त चुनाव करवाना है।

वही उनको कंडक्ट कराने का भी एक बड़ा रोल जो है वो कही ना कही प्रशासन के पास होता है और सारी व्यवस्था को भी संभालना पड़ता है क्योंकि कहीं ना कहीं प्रशासन के पास जब चुनाव आचार संहिता लग जाती है। यही वजह है कि मध्यप्रदेश में और भोपाल में जो शासकीय अधिकारी कर्मचारी हैं उनके जो अवकाश से उनको निरस्त कर दिया गया है।

आप सभी शासकीय जो अधिकारी कर्मचारी हैं उनको अब हमें ड्यूटी पे अवेलेबल रहना होगा और तमाम जो पॉलिटिकल गतिविधियाँ भी चल रही है, चुनाव से संबंधित काम भी होने हैं और इसके अलावा जो व्यवस्था हो के मैनेजमेंट का काम है, उसमें अब वो लोग पूरे समय लगे हुए नजर आएँगे।