इंदौर : मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि कथक नृत्यांगना , सुप्रसिद्ध अभिनेत्री एवं सांसद पद्मश्री हेमा मालिनी की भगवान शिव दुर्गा नाटिका की अद्भुत प्रस्तुति से महाकाल की नगरी में महाशिवरात्रि पर्व का भव्य शुभारंभ हुआ है। मुख्यमंत्री डॉ .यादव गुरुवार देर रात उज्जैन के पॉलिटेक्निक कॉलेज में विक्रमोत्सव अंतर्गत आयोजित भगवान शिव दुर्गा नाटिका की प्रस्तुति कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि प्रसिद्ध नृत्यांगना हेमा मालिनी सहित साथी कलाकारों की भव्य प्रस्तुति से महाशिवरात्रि की भव्यता को और बढ़ा दिया हैं।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने अभिनेत्री और नृत्यांगना हेमा मालिनी सहित की समस्त कलाकारों को पुष्पगगुच्छ और सम्राट विक्रमादित्य की प्रतिमा भेंट कर सम्मानित किया। इस अवसर पर विधायक अनिल जैन कालूहेडा, नगर निगम अध्यक्ष मुकेश टटवाल सहित अन्य जनप्रतिनिधि एवं अधिकारी उपस्थित रहें।
सुप्रसिद्ध नृत्यांगना हेमा मालिनी ने संबोधित करते हुए कहा कि महाशिवरात्रि की पूर्व संध्या पर भगवान महाकाल की नगरी में शिव दुर्गा नाटिका की प्रस्तुति देने में बहुत प्रसन्नता का अनुभव हुआ हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री डॉ. यादव को इस अवसर के लिए बहुत-बहुत धन्यवाद दिया। उन्होंने सभी को महाशिवरात्रि पर्व की शुभकामनाएं दी।
पॉलीटेक्निक कालेज में आयोजित विक्रमोत्सव कार्यक्रम में सुप्रसिद्ध अभिनेत्री हेमा मालिनी ने अपने अदभुत नृत्य-कला से सबका मन मोह लिया। साथी कलाकारों के संग नृत्य नाटिका में मां दुर्गा और सती के रूप में हेमा मालिनी की शानदार प्रस्तुति पर पूरा कार्यक्रम करतल ध्वनि से गूंज उठा।
शिवदुर्गा नृत्य नाटिका की ऐसी प्रस्तुति की कि मानो भगवान महाकाल की नगरी में उनके स्वरूप में मां दुर्गा अवतरित हो गई हों। विक्रमोत्सव में शिरकत करने आईं हेमा मालिनी ने अपने ग्रुप के साथ शिव सती कथा , दक्ष वध,शिव तांडव, बम लहरी , शिव पार्वती विवाह, नमस्तस्ये की प्रस्तुति की। इस दौरान प्रेम,भक्ति व रौद्र रस की भावपूर्ण नृत्य मंचन ने दर्शकों का मन मोह लिया। रंगारंग कार्यक्रम में हेमा मालिनी की प्रस्तुति देखने बड़ी संख्या में नागरिक उपस्थित रहे। दर्शकों ने बीच-बीच में हर-हर महादेव का उद्घोष कर कलाकारों की ऊर्जा में चार-चांद लगाए। हेमा मालिनी ने नृत्य नाटिका की शुरुआत शिव सती कथा से किया जिसमें सती का किरदार निभाते हुए उन्होंने बेहतरीन प्रस्तुति दी। दुर्गा सप्तशती पर आधारित नृत्य नाटिका दुर्गा का मंचन किया गया।
हेमामालिनी की नृत्य नाटिका और महिषासुर मर्दिनी रूप ने सभागार में बैठे दर्शकों को पूरे समय मंत्र मुग्ध किए रखा। हेमामालिनी ने माता पार्वती, नौदुर्गा रूप, चंडी, सती समेत कई रूप में नृत्य प्रस्तुत किया। इस दौरान शिव-पार्वती विवाह और महिषासुर का वध पूरे गीत-संगीत और शास्त्रीय नृत्य में पिरोकर दिखाया गया। जिसे दर्शकों ने खूब पसंद किया।