इंदौर : नेशनल लोक अदालत में बिजली कंपनी ने अधिकाधिक प्रकरणों का समझौते के माध्यम से निराकरण करने के लिए प्रयास किया। बिजली कंपनी के इंदौर एवं उज्जैन क्षेत्र में 4 हजार 147 प्रकरणों का निराकरण हुआ है। मध्यप्रदेश पश्चिम क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के इंदौर-उज्जैन क्षेत्र के सभी 15 सर्कलों में कुल 44 स्थानों पर लोक अदालत लगी। इसमें 4 हजार 147 उपभोक्ताओं के प्रकरणों का निराकरण हुआ है। लोक अदालत में कंपनी ने उपभोक्ताओं व उपयोगकर्ताओं को एक करोड़ 45 लाख रुपए की नियमानुसार छूट दी। वहीं बिजली कंपनी को इससे लगभग 5 करोड़ 90 लाख रुपए का राजस्व प्राप्त हुआ है।
विद्युत अधिनियम 2003 के तहत बिजली चोरी एवं अनियमितताओं के प्रकरणों में लोक अदालत में समझौता हुआ। इंदौर क्षेत्र में 1628 प्रकरण निराकृत हुए, उज्जैन क्षेत्र में 2519 मामलों को न्यायालयों में समझौते से निराकृत किया गया। प्री-लिटिगेशन स्तर के प्रकरणों में निम्नदाब श्रेणी के समस्त घरेलू, समस्त कृषि, 5 किलोवॉट तक के गैर घरेलू एवं 10 अश्व शक्ति भार तक के औद्योगिक उपभोक्ताओं को छूट दी गई। प्री-लिटिगेशन स्तर पर सिविल दायित्व की राशि पर 30 प्रतिशत एवं ब्याज की राशि पर 100 प्रतिशत की छूट दी।
लिटिगेशन स्तर के प्रकरणों में सिविल दायित्व की राशि पर 20 प्रतिशत एवं ब्याज की राशि पर 100 प्रतिशत छूट प्रदान की गई। समझौते वाले आवेदक को निर्धारित छूट के उपरांत शेष बिल आंकलित सिविल दायित्व आदि का एकमुश्त भुगतान करना था।