Parivartini Ekadashi 2023: भादो मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को रखा जाएगा परिवर्तिनी एकादशी का पवित्र व्रत। हिंदू धर्म में ऐसी मान्यता हैं कि इस दिन जगत के पालनहारे अर्थात सब देवों के प्रिय श्री नारायण निद्रा में अपनी करवट बदलते हैं। वहीं इस एकादशी को डोल ग्यारस, पद्मा एकादशी और जलझूलनी एकादशी के नाम से भी जाना जाता है। इसी के साथ इस दिन सृष्टि के संचालक अर्थात श्री हरि विष्णु समेत उनकी पूज्य अर्धांगिनी अर्थात देवी लक्ष्मी की भी विशेष पूजा-अर्चना की जाती है।
परिवर्तनी एकादशी को हिंदू धर्म में काफी ज्यादा पवित्र और महत्वपूर्ण से माना जाता है। मान्यता है कि भगवान नारायण इस दिन काफी ज्यादा प्रसन्न मुद्रा में होते हैं। इस दिन की गई पूजा अर्चना, आराधना- कीर्तन से वह अतिशीघ्र ही प्रसन्न हो जाते हैं और अपने भक्तों की अनेकों इच्छाएं पूर्ण कर देते हैं। इस वर्ष परिवर्तनी एकादशी पर दो बेहद शुभ संयोगों का निर्माण होने जा रहा हैं। जिसमें सबसे पहला है। रवि योग और दूसरा हैं सर्वार्थ सिद्धि योग। इसलिए यह अत्यंत शुभ फलदायी मानी जा रही हैं।
जैसा कि सभी जानते हैं। इन योग में विष्णु जी की भक्ति आराधना करने से उपवास रखने वाले जातकों को परम सुखों के साथ शुभ फलों की प्राप्ति भी होती हैं। चलिए जानते हैं परिवर्तिनी एकादशी के शुभ संयोग, मुहूर्त और उपाय।
परिवर्तिनी एकादशी 2023 मुहूर्त (Parivartini Ekadashi 2023 Muhurat)
- भाद्रपद शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि का शुभारंभ – 25 सितंबर 2023, सवेरे 07 बजकर 55
- भाद्रपद शुक्ल परिवर्तिनी एकादशी तिथि का समापन – 26 सितंबर 2023 सवेरे 05 बजे
विष्णु जी की आराधना का समय – प्रातकाल 09.12 – सवेरे 10.42
परिवर्तिनी एकादशी व्रत को खोलने का समय – मध्यांतर 01.25 – दोपहर 03.49 (26 सितंबर 2023)
राहुकाल – सुबह 07.41 – सुबह 09.12
परिवर्तिनी एकादशी 2023 शुभ योग (Parivartini Ekadashi 2023 Shubh Yoga)
एकादशी के दिन उत्तराषाढ़ा और श्रवण नक्षत्र का निर्माण हो रहा है। दोनों ही नक्षत्र बेहद ज्यादा शुभ माने गए हैं, इसमें किए गए प्रत्येक कार्य परम फलदायी होते हैं। इसके साथ ही परिवर्तिनी एकादशी पर रवि योग, सर्वार्थ सिद्धि योग, सुकर्मा योग का निर्माण हो रहा है।
सुकर्मा योग – 25 सितंबर 2023, दोपहर 03:23 – 26 सितंबर 2023, सुबह 11:46
सर्वार्थ सिद्धि योग – 25 सितंबर 2023, सुबह 11.55 – 26 सितंबर 2023, सुबह 06.11
रवि योग – सुबह 06:11 – सुबह 11:55
परवर्तिनी एकादशी पर जरूर करें ये उपाय (Parivartini Ekadashi Upay)
- यदि कोई जातक गंभीर फाइनेंशियल समस्या से जूझ रहा हैं तो परिवर्तनी एकादशी तिथि के दिन भगवान नारायण का केसर मिलें दूध से अभिषेक करें और उन्हें पीली मिष्ठान का प्रसाद चढ़ाएं। वहीं मान्यता है कि इससे धन की देवी मां लक्ष्मी प्रसन्न होकर व्रत रखने वाले जातक को सभी प्रकार के भौतिक सुख और ऐश्वर्य के साथ, धन, समृद्धि का आशीष भी प्रदान करती हैं।
- इस दिन गौ माता की सेवा पूजा करने से 33 करोड़ देवी-देवता का आशीर्वाद प्राप्त होता है। वहीं एकादशी तिथि पर गाय को हरा चारा खिलाने से घर में बरकत और अन्नपूर्णा का वास होता हैं।